अयोध्या-मथुरा और प्रयागराज से सीएम योगी के चुनाव लड़ने की अटकलों पर अब विराम लग गया है। बीजेपी ने उन्हें उनके गृह जिले गोरखपुर से टिकट दिया है। बीजेपी के इस फैसले पर अब विपक्ष ने निशाना साधना शुरू कर दिया है।
सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने योगी पर तंज कसते हुए कहा है कि भाजपा ने पहले ही उन्हें, उनके घर भेज दिया है। योगी भाजपा के सदस्य नहीं हैं। लखनऊ में एक प्रेस कांफ्रेंस को संबोधित करते हुए अखिलेश यादव ने ये बातें कही है। उन्होंने कहा- “पहले कोई कहता था कि योगी अयोध्या से चुनाव लड़ेंगे, प्रयागराज से चुनाव लड़ेंगे, मथुरा से चुनाव लड़ेंगे लेकिन भाजपा ने उन्हें अपने घर वापस भेज दिया है। अब मुझे लगता है कि गोरखपुर में ही उन्हें रहना पड़ेगा, अब वहां से वापस आने की जरूरत नहीं है। इस बार चुनाव में भाजपा साफ हो जाएगी।
अखिलेश यादव ने केशव प्रसाद मौर्य पर तंज कसते हुए कहा कि डिप्टी सीएम जैसा कोई पोस्ट नहीं होता है। अखिलेश यादव ने यहां तक कह दिया कि मुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य को बनना चाहिए था, लेकिन बाबा ने उन्हें सीएम नहीं बनने दिया।
इसके साथ ही उन्होंने कहा कि अब उनकी पार्टी किसी भी बीजेपी के मंत्री या विधायक को अपनी पार्टी में नहीं लेगी। उन्होंने कहा- “मैं बीजेपी को बता दूं कि मैं अब किसी बीजेपी विधायक, मंत्री को नहीं लूंगा। वे चाहें तो टिकट देने से इनकार कर सकते हैं”।
योगी पर कटाक्ष करने के साथ ही अखिलेश यादव ने चंद्रशेखर आज़ाद की आजाद समाज पार्टी के साथ गठबंधन टूटने के संबंध में भी अपनी बात रखी। अखिलेश ने कहा- “वह कल मेरे पास आए, उन्होंने कहा कि वह चुनाव लड़ेंगे। मैंने लोक दल से बात करने के बाद गाजियाबाद और रामपुर मनिहारन सीटें दीं। फिर वह किसी से फोन पर बात करने के बाद आए और कहा कि वह लड़ नहीं सकते। वह किसका फोन था? किसने साजिश रची?”
इससे पहले आज चंद्रशेखर आजाद ने अखिलेश यादव के साथ गठबंधन की असफल कोशिश के बाद उन पर निशाना साधा था, जिसमें दावा किया गया था कि समाजवादी पार्टी के नेता दलितों का समर्थन नहीं चाहते हैं।