पंजाब में 15 वीं विधानसभा के लिए शनिवार को वोट डाले जाएंगे। चुनाव आयोग ने सभी तैयारियों को आज अंतिम रूप दे दिया है। पहली बार पंजाब में होने वाले इस तिकोणे मुकाबले में कई दिग्गजों की प्रतिष्ठा दांव पर लगी हुई है। उधर धुआंधार अभियान के बाद गोवा शनिवार को होने वाले विधानसभा चुनाव के लिए पूरी तरह तैयार है। यहां सत्तारूढ़ भाजपा, विपक्षी कांगे्रस और राज्य में नए प्रवेश करने वाली आप और तीन पार्टियों- एमजीएम, जीएसएम और शिव सेना के गठबंधन वाली पार्टियों के बीच मुकाबला है। पंजाब का चुनाव मुख्यमंत्री प्रकाश सिंह बादल, उपमुख्यमंत्री सुखबीर सिंह बादल, कांग्रेस अध्यक्ष कैप्टन अमरिंदर सिंह और दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के लिए सबसे अहम हैं। राज्य विधानसभा की कुल 117 सीटों पर 1145 प्रत्याशी चुनाव मैदान में हैं।
मतदान प्रक्रिया को शांतिपूर्व संपन्न करवाने के लिए अर्द्धसैनिक बलों की करीब 500 कंपनियों के अलावा राज्य पुलिस के 70 हजार से अधिक जवानों को तैनात किया गया है। इसके अलावा पंजाब के सीमावर्ती जिले फिरोजपुर, तरनतारन, अमृतसर, गुरदासपुर, पठानकोट, बटाला व फाजिल्का में बीएसएफ की विशेष तैनाती की गई है।

राज्य चुनाव आयोग से मिली जानकारी के अनुसार पुलिस ने अब तक करीब 921 मामले दर्ज किए गए हैं। इनमें करीब 150 मामले नशे से संबंधित हैं। इसके अलावा करीब 750 मामले शराब तस्करी से संबंधित दर्ज किए गए हैं। दूसरी तरफ चुनाव आयोग के पास अब तक करीब 5000 शिकायतें पहुंची हैं जिनमें से करीब 4700 का निपटारा किया जा चुका है। राज्य के लुधियाना नार्थ हलके में सबसे अधिक 65 प्रत्याशी चुनाव मैदान में हैं तो खेमकर हलके में सबसे कम पांच प्रत्याशी चुनाव मैदान में हैं। राजनैतिक दृष्टिकोण से पंजाब को तीन हिस्सों में बांटा जाता है। जिसके तहत मालवा में 69, माझा में 25 तथा दोआबा में 23 विधानसभा हलके आते हैं। अब तक हुए चुनावों में मालवा पट्टी ने ही राज्य को मुख्यमंत्री दिए हैं।

शनिवार को होने वाले मतदान में कुल एक करोड़, 97 लाख 49 हजार 964 मतदाता अपने मताधिकार का प्रयोग करेंगे। जिनमें 93 लाख 9 हजार 274 महिला मतदाता तथा एक करोड़ 4 लाख 40 हजार 310 पुरुष मतदाता शामिल हैं। इसके अलावा राज्य में 380 किन्नर, 281 एनआरआई तथा 60 हजार दिव्यांग मतदाता शामिल है। पंजाब में इस बार करीब 3 लाख 67 हजार युवा मतदाता हैं। इसके अलावा 53.5 लाख मतदाताओं की आयु 18 से 20 वर्ष है। चुनाव आयोग ने राज्य में कुल 22 हजार 600 मतदान केंद्र स्थापित किए हैं। जिनमें से छह हजार मतदान केंद्रों को संवेदनशील घोषित किया गया है। मतदान के लिए कुल 31 हजार 460 ईवीएम का प्रयोग किया जाएगा। इसके अलावा चार हजार मतदान केंद्रों में वेबकास्टिंग के माध्यम से मतदान कार्य को अमल में लाया जाएगा। इसके अलावा राज्य में कई मॉडल मतदान केंद्र भी स्थापित किए गए हैं।

पणजी से मिली खबर के अनुसार, गोवा विधानसभा चुनाव में यहां 40 सीटों के लिए राजनीतिक दलों के 251 उम्मीदवार मैदान में हैं। चुनाव आयोग ने राज्य भर में शराब की दुकानों, बार और रेस्टोरेंट संचालकों को शराब बेचने अथवा शराब बांटने की मनाही कर दी है। शराब की दुकानें सील कर दी गई हैं। कुल 1750 चुनाव अधिकारी वीडियो कैमरे के जरिए मतदान की निगरानी करेंगे। गोवा में महिला वोटर ज्यादा हैं। इस तथ्य के मद्देनजर चुनाव आयोग ने नया एक प्रयोग किया है। हर विधानसभा इलाके में एक बूथ महिला निर्वाचन अधिकारी द्वारा संचालित होगा, जिसे पिंक बूथ का नाम दिया गया है। पहली बार मतदान करने वाली महिला वोटर को गुलाबी टेडी बियर उपहार में दिया जाएगा। कुल पंजीकृत मतदाताओं की संख्या 11.10 लाख है, जिनमें 5.46 लाख पुरुष और 5.64 लाख महिला मतदाता हैं।

राज्य भर में 40 सीटों के लिए 1642 मतदान केंद्र बनाए गए हैं। गोवा विधानसभा चुनाव में पहली बार मतदान करने वाली युवतियों को गुलाबी टेडी बियर देने का एलान किया है चुनाव आयोग ने। लोकतांत्रिक प्रक्रिया में महिलाओं की भागीदारी और महिला सशक्तीकरण को बल देने के सरकार के अभियान के मद्देनजर चुनाव आयोग ने राज्य में महिलाओं के लिए कम से कम चालीस ऐसे मतदान केंद्र बनाने का निर्णय लिया है, जहां महिला चुनाव कमर्चारियों की नियुक्ति की जाएगी। पिंक बूथ के नाम से पहचाने जाने वाले इन बूथों पर गुलाबी रंग से सजावट की जाएगी। यहां सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी, विपक्षी कांग्रेस और राज्य में नए प्रवेश करने वाली आम आदमी पार्टी और तीन पार्टियों- महाराष्ट्रवादी गोमांतक पार्टी (एमजीपी), गोवा सुरक्षा मंच (जीएसएम) और शिवसेना के महागठबंधन के बीच मुकाबला है। इस चुनाव में पांच पूर्व मुख्यमंत्रियों और मौजूदा मुख्यमंत्री लक्ष्मीकांत पारसेकर के भविष्य का फैसला होने वाला है।