लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास) ने हाजीपुर सीट से चिराग पासवान को उम्मीदवार बना दिया है। यह फैसला पार्टी की केंद्रीय संसदीय बोर्ड मीटिंग के बाद सामने आया है। इस दौरान मीटिंग से बाहर आए चिराग पासवान ने कहा कि जल्द ही उनकी पार्टी कई उम्मीदवारों की लिस्ट जारी करेगी। इससे पहले बिहार की सियासत में बीते दिन मंगलवार को सियासी ड्रामा तब सामने आया था जब चिराग पासवान के चाचा पशुपति पारस ने केंद्रीय मंत्री पद से इस्तीफा दे दिया था।
चाचा को लेकर क्या बोले चिराग पासवान?
जब चिराग पासवान से पत्रकारों ने उनके चाचा पशुपति पारस के हाजीपुर से चुनाव लड़ने के बयान के बारे में पूछा तो चिराग ने कहा–”कोई समस्या ही नहीं है, मैं चुनौतियों से कभी नहीं डरा, मैंने हमेशा चुनौतियों का बहादुरी से सामना किया है, इसलिए आज मैं यहां खड़ा हूं, मुझे ख़त्म करने की कोशिश की गई। लेकिन मैं हर चुनौती के लिए तैयार हूं।”
पशुपति पारस ने दिया इस्तीफा
लोकसभा चुनाव के दौरान बिहार में सियासत काफी गरमा गई है। वजह है राष्ट्रीय लोक जनशक्ति पार्टी प्रमुख पशुपति कुमार पारस ने मोदी मंत्रिमंडल से इस्तीफा दिया जाना। अब उनकी सीट हाजीपुर से उनके भतीजे चिराग पासवान को एनडीए ने उम्मीदवार बना दिया है जबकि इस सीट की मांग वह खुद कर रहे थे।
मंगलवार को पशुपति पारस ने इस्तीफा देते हुए कहा–प्रधानमंत्री जी देश के नेता हैं और बड़े नेता है, मैं उनका धन्यवाद देता हूं। उन्होंने कहा कि हमारे पांच सांसद थे और मैंने पहले ही कहा था कि एनडीए में सीट बंटवारा होने के बाद हम फैसला लेंगे। पशुपति पारस ने कहा कि मैंने अपना इस्तीफा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी को भेज दिया है।
पशुपति पारस के इस्तीफे पर बिहार के उपमुख्यमंत्री और बीजेपी नेता विजय सिन्हा ने कहा कि मोदी जी ने रामविलास पासवान के उत्तराधिकारी के रूप में चिराग को नहीं बल्कि पशुपति पारस को आगे बढ़ाया। अब चिराग को भी मौका मिलना चाहिए। विजय सिन्हा ने कहा कि हम पशुपति पारस की इज्जत करते हैं और उन्हें पूरा सम्मान देंगे।