Lok Sabha Election 2019 में वाराणसी सीट से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के खिलाफ नामांकन दाखिल करने वाले सपा-बसपा-आरएलडी गठबंधन प्रत्याशी तेज बहादुर को निर्वाचन कार्यालय ने नोटिस जारी कर दिया। दरअसल वे पहले ही निर्दलीय प्रत्याशी के रूप में नामांकन कर चुके थे, सोमवार (29 अप्रैल) को उन्होंने सपा-बसपा गठबंधन के चुनाव चिह्न पर आधिकारिक प्रत्याशी के रूप में नामांकन किया। दोनों बार नामांकन में अलग-अलग जानकारी देने के चलते उन्हें नोटिस मिल गया। उन्हें एक दिन का वक्त दिया गया है।
क्या गड़बड़ है तेज बहादुर के नामांकन मेंः बीएसएफ में खराब खाने की शिकायत वाले वीडियो क्लिप को वायरल करने को लेकर चर्चा में बीएसएफ (सीमा सुरक्षा बल) से बर्खास्त फौजी ने काफी पहले ही पीएम मोदी के खिलाफ चुनाव लड़ने का ऐलान कर दिया था। नोटिस के मुताबिक तेज बहादुर ने 24 अप्रैल को निर्दलीय प्रत्याशी के रूप में नामांकन किया। उस वक्त उन्होंने अपने शपथ पत्र में बताया था कि ‘हां’ उन्हें नौकरी से बर्खास्त किया गया था। दूसरी बार नामांकन के अंतिम दिन 29 अप्रैल को तेज बहादुर ने इसी कॉलम में ‘नहीं’ लिखा। जिसका मतलब है कि उन्हें भ्रष्टाचार की वजह से नौकरी से नहीं निकला गया है।
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यह प्रमाण पत्र नहीं दिया तो नामांकन निरस्तः दोनों शपथ पत्रों का संज्ञान लेते हुए जिला निर्वाचन कार्यालय ने तेज बहादुर को नोटिस जारी करते हुए नौकरी से निकाले जाने संबंधित प्रमाण पत्र की मांग की है। ये प्रमाण पत्र उन्हें 1 मई शाम पांच बजे तक जिला निर्वाचन कार्यालय में जमा करना है। वरना उनका नामांकन रद्द कर दिया जाएगा।

