Elections 2019: गोवा के दिवंगत पूर्व मुख्यमंत्री मनोहर पर्रिकर के कभी राजनीतिक गुरु रहे सुभाष वेलिंगकर अब भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) की मुश्किल बढ़ाते नजर आएंगे। राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) के पूर्व नेता वेलिंगकर ने सोमवार (29 अप्रैल, 2019) को पणजी विधानसभा उपचुनाव के लिए नामांकन भर दिया। वह गोवा सुरक्षा मंच (जीएसएम) के टिकट पर उप चुनाव लड़ रहे हैं।

बता दें कि 19 मई को पणजी में उपचुनाव है। पूर्व सीएम मनोहर पर्रिकर इस सीट से प्रतिनिधित्व करते थे। उनके निधन के बाद यहां उपचुनाव हो रहा है। वेंलिंगकर का सामना भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) के सिद्धार्थ कुनकोइलेंकर और कांग्रेस के अटानेसियो मोनसेरेट से होगा।

इससे पहले, जीएसएम ने 2017 का विधानसभा चुनाव शिवसेना और एमजीपी के साथ गठबंधन में लड़ा था, पर वे कुछ खास कमाल नहीं दिखा पाई थी। ताजा मामले में वेलिंगकर ने मीडिया से कहा, “पणजी उपचुनाव को गोवा की राजनीति में सफाई की प्रक्रिया की शुरुआत के तौर पर देखा जाना चाहिए।”

उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि 23 अप्रैल को हुए चुनाव में मतदाताओं को पैसों के जरिए लुभाने की कोशिश की गई। उनका दावा है कि पणजी उपचुनाव में इस चीज का खात्मा हो जाएगा। बकौल वेलिंगकर, “मैं इस प्रकार की राजनीति की सफाई के वादे के साथ यह चुनाव लड़ रहा हूं।।”

मीडिया रिपोर्ट्स में वेलिंगकर के हवाले से कहा गया, “उन्हें यकीन है कि वह 15 हजार वोट हासिल करेंगे और लगभग तीन हजार वोटों के अंतर से जीत हासिल करेंगे।” उनके अनुसार, यह चुनाव सिद्धांतवादी और गैर-सिद्धांतवादियों के बीच है। पणजी के लोग यही तय करेंगे कि आखिर उन्हें सिद्धांतों पर चलने वाला नेता चाहिए या सिद्धांतों के बगैर वाला पसंद है।

वेलिंगकर को 1990 के दशक में बीजेपी के अहम रणनीतिकार के रूप में जाना जाता है और यह उनका पहला चुनाव है। उन्होंने इसके अलावा तक दशकों तक गोवा बीजेपी के कई शीर्ष नेताओं को राजनीतिक दांव-पेंच सिखाए और तैयार किया, जिनमें पर्रिकर भी शामिल थे। साल 2016 में गोवा आरएसएस चीफ के पद से हटाए जाने के बाद उन्होंने जीएसएम की स्थापना की थी।

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