Election Results 2019 में लगे करारे झटके के बाद शनिवार (25 मई) को दिल्ली में कांग्रेस वर्किंग कमेटी की बैठक हुई। बैठक में हार पर मंथन हुआ। सूत्रों के हवाले मिली जानकारी के मुताबिक बैठक में राहुल गांधी ने पार्टी अध्यक्ष पद से इस्तीफा भी सौंपा था, लेकिन बैठक में शामिल दिग्गज पार्टी नेताओं ने इसे नामंजूर कर उनसे पद पर बने रहने की अपील की। इस बैठक में कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी के अलावा सोनिया गांधी, प्रियंका गांधी और ज्योतिरादित्य सिंधिया समेत तमाम दिग्गज मौजूद रहे। इस दौरान नेताओं की बॉडी लैंग्वेज और चेहरे के भाव हार का दर्द साफ बयां कर रहे थे।
पहले खुश दिखे राहुल-प्रियंकाः राहुल गांधी अपनी बहन और चुनाव में पूर्वी उत्तर प्रदेश की प्रभारी रहीं प्रियंका गांधी के साथ बैठक में पहुंचे थे। बैठक में जाने के दौरान उनके चेहरे पर हल्की मुस्कुराहट दिख रही थी। हालांकि मुस्कुराहट में भी हार का गम झलक रहा था।

बाहर मुस्कुराते दिख रहे दोनों चेहरे बैठक में काफी मायूस नजर आए। राहुल गांधी बैठक के दौरान कई बार दोनों हाथों को जोड़कर ऊपर की तरफ देखते नजर आए। ऐसा लग रहा था जैसे वे हार के बाद अपने अगले कदम को लेकर गंभीरता से सोच रहे हो।

बैठक में प्रियंका गांधी दिल्ली की पूर्व मुख्यमंत्री शीला दीक्षित और लोकसभा चुनाव में पश्चिमी उत्तर प्रदेश के प्रभारी बनाए गए कांग्रेस महासचिव ज्योतिरादित्य सिंधिया के साथ बैठी थीं। दोनों ही नेता अपनी-अपनी सीट पर भी हार गए हैं। प्रियंका के चेहरे पर यहां मायूसी साफ देखने को मिली। उनकी नजरें ज्यादातर समय अपने सामने रखे दस्तावेजों पर ही टिकी रहीं।
इस अंदाज में दिखे सोनिया-मनमोहनः यूपीए अध्यक्ष सोनिया गांधी और पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह के बीच में राहुल गांधी बैठे हुए थे। सोनिया बैठक के दौरान सामान्य अंदाज में नजर आ रही थीं, वहीं मनमोहन सिंह भी अपने चिर-परिचित अंदाज में गंभीर मुद्रा में ही दिखे।

इस बैठक में गुलाम नबी आजाद, मल्लिकार्जुन खड़गे, पंजाब सीएम अमरिंदर सिंह, आरपीएन सिंह, पीएल पुनिया, एके एंटनी, हरीश रावत और मोतीलाल वोरा समेत कई नेताओं ने शिरकत की।
National Hindi News, 25 May 2019 LIVE Updates: देश-दुनिया की तमाम बड़ी खबरें सिर्फ एक क्लिक पर
गौरतलब है कि पिछले चुनाव में 44 सीटों पर सिमटी कांग्रेस को अबकी बार सिर्फ 8 सीटों की बढ़त मिल पाई है। इस बार आंकड़ा 52 तक पहुंचा है। हालांकि इस बार भी कांग्रेस विपक्ष की सबसे बड़ी पार्टी बनी है लेकिन विपक्ष के नेता का पद किसी को नहीं मिल पाएगा। इस चुनाव में राहुल, सिंधिया और कांग्रेस के 9 पूर्व मुख्यमंत्री अपनी ही सीटें भी नहीं बचा पाए। राहुल को अमेठी में हार मिली, हालांकि वायनाड में वे जीत गए।