आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री एन चंद्रबाबू नायडू 11 फरवरी को राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में मोदी सरकार के खिलाफ प्रदर्शन करेंगे। इसके लिए राज्य से लोगों को दिल्ली लाने के लिए दो स्पेशल ट्रेन बुक की गई है। प्रत्येक ट्रेन में 20 कोच लगे हैं। दोनों स्पेशल ट्रेन के लिए राज्य के सामान्य प्रशासन विभाग ने दक्षिण मध्य रेलवे को 1.12 करोड़ रुपये दिए हैं। यूं कहें तो मोदी सरकार के खिलाफ प्रदर्शन करने के लिए सीएम चंद्रबाबू नायडू ने लोगों के लाने पर 1.12 करोड़ रुपये सरकारी धन खर्च किए।
विभाग द्वारा जारी आदेश के अनुसार, अनंतपुर और श्रीकाकुलम से ट्रेनों में सवार होकर आने वाले विभिन्न राजनीतिक दलों के नेता, अन्य संगठनों के सदस्य, गैर-सरकारी संगठनों के सदस्य दिल्ली में आयोजित एक दिवसीय ‘दीक्षा’ में शामिल होंगे। मोदी सरकार के खिलाफ प्रदर्शन करेंगे। ये दोनों ट्रेन रविवार 10 जनवरी की सुबह 10 बजे नई दिल्ली पहुंचेगी।
यह प्रदर्शन आंध्र प्रदेश को विशेष राज्य का दर्जा देने की मांग तथा आंध्र प्रदेश पुनर्गठन अधिनियम 2014 में किए गए अन्य वादों को पूरा करने में केंद्र सरकार की नाकामी के खिलाफ किया जा रहा है। तेलुगू देशम पार्टी के अध्यक्ष चंद्रबाबू नायडू ने विपक्षी पार्टियों सहित सभी से इस प्रदर्शन को सफल बनाने की अपील की है। संभावना जताई जा रही है कि भारतीय जनता पार्टी को छोड़ अन्य पार्टी के नेता इस प्रदर्शन में शामिल हो सकते हैं।
बता दें कि चंद्रबाबू नायडू पहले एनडीए के साथ थे, लेकिन बीते साल मार्च महीने में वे एनडीए से अगल हो गए थे। वे आंध्र प्रदेश के लिए विशेष फंड व दर्ज की मांग कर रहे थे, जिसपर केंद्र से सहमति नहीं बनी। इसके बाद उन्होंने गठबंधन से अलग होने का फैसला किया। अब वे विपक्षी दलों के साथ मिलकर मोदी सरकार के खिलाफ मोर्चा खोले हुए हैं।
वहीं, दूसरी ओर मिशन 2019 में जुटी भाजपा चंद्रबाबू नायडू के उपर हमलावर है। पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह ने आंध्र प्रदेश में आयोजित एक रैली में नायडू को यू-टर्न सीएम बताया। शाह ने कहा कि 10 सालों तक सत्ता से बाहर रहने के बाद नायडू को यह समझ में आया कि वे मोदी जी के बिना दुबारा कुर्सी प्राप्त नहीं कर सकते हैं, तो एनडीए का दामन थाम लिया। लेकिन तेलंगाना विधानसभा चुनाव आते ही एनडीए छोड़ उस कांग्रेस के साथ चले गए जिसने तेलुगू लोगों की बेइज्जती की थी। नायडू यहां भी नहीं रूके और कांग्रेस के चुनाव हारते ही वे अब महागठबंधन का हिस्सा बन गए।
