केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (सीबीएसई) आज 12वीं कक्षा के छात्रों के मूल्यांकन के लिए मानकों की घोषणा कर सकता है। यह अनुमान लगाया जा रहा है कि कक्षा 10 और 11 के नंबरों के साथ-साथ कक्षा 12 की प्री-बोर्ड परीक्षाओं को मूल्यांकन का तरीका माना जा सकता है। इससे पहले भी कई रिपोर्टों ने सुझाव दिया था कि पिछले तीन साल के प्रदर्शन को इस साल छात्रों का आकलन करने के लिए माना जा सकता है, जिसमें कक्षा 12 के प्री-बोर्ड में अधिकतम वेटेज है।
एक 13 सदस्यीय समिति सीबीएसई कक्षा 12 मूल्यांकन मानदंड पर काम कर रही है और 14 या 15 जून तक इसकी घोषणा करने की संभावना है। बोर्ड 17 जून को अपनी अगली सुनवाई से पहले सुप्रीम कोर्ट के साथ अपने मानदंड साझा करने वाला है। बोर्ड ने 8 जून को जारी एक सर्कुलर में कक्षा 12 के प्रक्टिकल नंबर जमा करने की आखिरी तारीख 28 जून तक बढ़ा दी थी। यह भी कहा गया है कि कोई भी लंबित आंतरिक परीक्षा ऑनलाइन मोड के माध्यम से आयोजित की जाएगी और सीबीएसई द्वारा प्रदान किए जाने वाले लिंक पर नंबर अपलोड करेगी। सीबीएसई ने भी मापदंड तय करने के लिए चार जून को 13 सदस्यीय समिति का गठन किया है।
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जो उम्मीदवार परिणाम की प्रतीक्षा कर रहे हैं, वे ध्यान दें कि मूल्यांकन नीति के अनुसार किसी भी छात्र को ग्रेड नहीं दिया जाएगा। इस वर्ष, छात्रों को समय अनुकूल होने पर अपनी पसंद के एक विषय की कंपार्टमेंट परीक्षा में बैठने का अवसर दिया जाएगा।
बोर्ड को सीबीएसई को कक्षा 12 के ऑप्शनल असेसमेंट के लिए स्कूलों से अलग-अगल सुझाव मिल रहे हैं। यह भी कहा जा रहा है कि छात्रों को मार्क के बजाय इस साल ग्रेड दिया जाए। बारहवीं के रिजल्ट के लिए कहा जा रहा है कि इसमें प्री बोर्ड, 10वीं और 11वीं के नंबर जोड़कर इसे तैयार किया जा रहा है।
यह भी कहा कि प्रक्टिकल एग्जाम के संचालन के लिए, जहां बोर्ड द्वारा बाहरी परीक्षकों की नियुक्ति की जाती है, वह आंतरिक परीक्षकों के परामर्श से परीक्षा की तारीख तय करेगा और ऑनलाइन मोड के माध्यम से वाइवा लेगा।
मूल्यांकन नीति छात्रों के लिए सुधार या बोर्ड परीक्षाओं में बैठने का प्रावधान भी करेगी, जो सीबीएसई द्वारा बाद की तारीख में आयोजित की जाएगी, यदि छात्र अपने परिणाम से संतुष्ट नहीं हैं।
मीडिया रिपोर्ट के अनुसार सीबीएसई कक्षा 12 के छात्रों को संभावित ग्रेड की रिपोर्ट को खारिज करते हुए कहा अधिकारियों ने साझा किया है कि बोर्ड उम्मीदवारों को अंक देगा जैसा कि पहले और बाद के बैचों के लिए किया गया था। ग्रेड देने की कोई योजना नहीं थी। इसके अलावा, अधिकारियों ने यह भी साझा किया है कि 16 जून या 17 जून तक रिपोर्ट जमा करेगा। परिणाम 15 अगस्त, 2021 से पहले जारी किए जाएंगे।
सीबीएसई द्वारा गठित 12 सदस्यीय पैनल ने विभिन्न सीबीएसई संबद्ध स्कूलों के प्राचार्यों और शिक्षकों से मुलाकात की। पैनल उन छात्रों के पुराने डेटा का अध्ययन कर रहा है, जिन्हें कक्षा 12 की बोर्ड परीक्षा में शामिल होना था। वे अपने आंतरिक मूल्यांकन और कक्षा 12 की प्री बोर्ड परीक्षा के अलावा अपनी कक्षा 10 की परीक्षा और 11 वीं के प्रदर्शन से छात्रों के परिणामों का अध्ययन कर रहे हैं। विस्तृत नीति जल्द ही अपडेट की जाएगी, देखते रहें।
मीडिया रिपोर्ट के अनुसार , सीबीएसई कक्षा 12 बोर्ड परीक्षा 2021 के लिए कक्षा 12 मूल्यांकन मानदंड 16-17 जून तक जारी किया जाएगा। एक बार जारी होने के बाद, कक्षा 12 के छात्र आधिकारिक वेबसाइट cbse.gov.in पर देख सकेंगे।
1 जून को, केंद्र ने देश भर में जारी COVID-19 महामारी के बीच सीबीएसई कक्षा 12 की बोर्ड परीक्षाओं को रद्द कर दिया था और फैसला किया था कि सीबीएसई समयबद्ध तरीके से अच्छी तरह से परिभाषित उद्देश्य मानदंडों के अनुसार परिणाम जारी करेगा।
केंद्रीय शिक्षा मंत्री को लिखे पत्र में, दिल्ली के डिप्टी सीएम मनीष सिसोदिया ने सुझाव दिया कि कक्षा 12 के छात्रों के परिणाम को कक्षा 10, 11 और प्री-बोर्ड परीक्षा के दौरान प्राप्त अंकों को ध्यान में रखते हुए बनाया जाना चाहिए।
सीबीएसई ने भी मापदंड तय करने के लिए चार जून को 13 सदस्यीय समिति का गठन किया है। बोर्ड ने पैनल से दस दिनों में अपनी रिपोर्ट देने को कहा है।
सीबीएसई को सुप्रीम कोर्ट द्वारा दो सप्ताह में अल्टरनेटिव असेस्मेंट स्कीम तैयार करने का काम सौंपा गया था। 12 सदस्यीय समिति की शनिवार को आखिरी बैठक हुई थी और सीबीएसई सोमवार को अपनी योजना सुप्रीम कोर्ट को सौंपने की पूरी संभावना है।
केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (सीबीएसई) कक्षा 12 की बोर्ड परीक्षा, कक्षा 11 की अंतिम परीक्षा और कक्षा 12 की प्री-बोर्ड परीक्षा में छात्रों के प्रदर्शन के आधार पर कक्षा 12 के छात्रों का आकलन करने के प्रस्ताव पर विचार कर रहा है।
1- छात्रों का असेसमेंट 10वीं, 11वीं फाइनल के मार्क्स और 12वीं कक्षा के इंटरनल मार्क्स के आधार पर तैयार किया जा सकता है।
2- बोर्ड 10वीं के फाइनल मार्क्स और 12वीं के आंतरिक मूल्यांकन के आधार पर भी रिजल्ट तैयार कर सकता है।
जो अभ्यर्थी अपने रिजल्ट से खुश नहीं होंगे उन्हें हालात सामान्य होने पर अंक सुधार का मौका दिया जाएगा।
4 जून को सीबीएसई ने असेसमेंट पॉलिसी तय करने के लिए 13 सदस्यीय एक समिति का गठन किया था. समिति को रिपोर्ट तैयार करने के लिए दस दिन का समय दिया गया था. रिजल्ट को लेकर कई तरह के असेसमेंट पर बात हा रही है, इसमें एक तरीका ये भी है कि बोर्ड 10वीं के फाइनल मार्क्स और 12वीं के आंतरिक मूल्यांकन के आधार पर भी रिजल्ट तैयार कर सकता है.
बोर्ड को सीबीएसई को कक्षा 12 के ऑप्शनल असेसमेंट के लिए स्कूलों से अलग-अगल सुझाव मिल रहे हैं। यह भी कहा जा रहा है कि छात्रों को मार्क के बजाय इस साल ग्रेड दिया जाए। बारहवीं के रिजल्ट के लिए कहा जा रहा है कि इसमें प्री बोर्ड, 10वीं और 11वीं के नंबर जोड़कर इसे तैयार किया जा रहा है।
जिन विषयों में बाह्य परीक्षक की नियुक्ति नहीं हुई है, वहां संबंधित विद्यालय के शिक्षक आंतरिक मूल्यांकन का संचालन करेंगे। प्रायोगिक परीक्षा बाहरी परीक्षक, आंतरिक परीक्षक और छात्र की उपस्थिति में आयोजित की जानी है और स्कूल द्वारा "परीक्षा के प्रमाण के रूप में" एक स्क्रीनशॉट लिया जाना है।
यह भी कहा कि प्रक्टिकल एग्जाम के संचालन के लिए, जहां बोर्ड द्वारा बाहरी परीक्षकों की नियुक्ति की जाती है, वह आंतरिक परीक्षकों के परामर्श से परीक्षा की तारीख तय करेगा और ऑनलाइन मोड के माध्यम से वाइवा लेगा।
सीबीएसई ने स्कूलों से संभावित मूल्यांकन मानदंडों पर अपने इनपुट साझा करने के लिए कहा है। सबसे लोकप्रिय अनुशंसाओं में से एक 20:30:50 सूत्र की सिफारिश की है। इसमें बच्चे के कक्षा 10 के प्रदर्शन को 20%, सीबीएसई कक्षा 12 की प्रैक्टिकल परीक्षा 2021 को 30% और कक्षा 12 के अंकों के आंतरिक मूल्यांकन के लिए 50% भार दिया जाना है। कक्षा 12 के आंतरिक मूल्यांकन के लिए, स्कूलों ने विभिन्न परीक्षाओं में छात्र के सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन को चुनने का सुझाव दिया है।