बिहार के किशनगंज जिले में जिला शिक्षा पदाधिकारी (डीईओ) नासिर हुसैन ने एक आदेश लागू कर दिया है जिसमें कहा गया है कि जिले में केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (सीबीएसई) बोर्ड से संबद्ध रखने वाले प्राइवेट स्कूलों में उर्दू पढ़ना अनिवार्य होगा। डीईओ नासिर हुसैन ने सभी निजी स्कूलों को इस आदेश से अवगत कराने के लिए एक पत्र भी जारी किया है। उन्होंने कहा है कि किशनगंज जिला एक “अल्पसंख्यक बहुल जिला” है इसलिए यहां पर प्राइवेट स्कूलों में उर्दू को पढ़ाने के लिए अधिसूचित किया गया है।
मुस्लिम बहुल इलाका है किशनगंज
नासिर हुसैन ने बताया कि इस जिले के सभी प्राइवेट स्कूलों को यह सुनिश्चित करना होगा कि छात्रों को उर्दू पढ़ने के लिए सभी जरूरी चीजें मिलती रहें और एक आवश्यक व्यवस्था को लागू किया जाएगा। DEO के आदेश के अनुसार, उन्हें बिहार शिक्षा परियोजना कार्यालय को अनुपालन रिपोर्ट उपलब्ध कराने को कहा गया है। इससे पहले एक सरकारी आदेश में कहा गया था कि CBSE बोर्ड से मान्यता प्राप्त किशनगंज जिले के सभी निजी स्कूलों से अनुरोध है कि वे इच्छुक छात्रों को उर्दू पढ़ने के लिए आवश्यक व्यवस्था सुनिश्चित करें।
जिले के एक विधायक ने इस आदेश का किया स्वागत
यह निर्णय जिला विकास समन्वय एवं निगरानी समिति (दिशा) की अक्टूबर, 2024 में हुई बैठक के बाद आया था। जिसमें कांग्रेस सांसद जावेद आजाद और कांग्रेस विधायक इजहारुल हुसैन ने कहा था कि जिले के निजी स्कूलों में उर्दू नहीं पढ़ाई जा रही है। इस आदेश को लेकर किशनगंज विधायक इजहारुल हसन और सांसद डॉ जावेद आजाद ने कहा है अल्पसंख्यक बाहुल्य जिला होने के बावजूद निजी विद्यालयों में उर्दू की पढ़ाई नहीं होने की बात कहकर कार्रवाई के लिए कहा था।
BPSC मामले में होगी जांच- शिक्षा मंत्री
इस बीच बिहार के शिक्षा मंत्री सुनील कुमार ने कहा है कि बिहार लोक सेवा आयोग (बीपीएससी) 70वीं एकीकृत संयुक्त प्रतियोगी परीक्षा (सीसीई) 2024 को लेकर उम्मीदवारों द्वारा उठाई गई शिकायतों की जांच करेगा। उन्होंने कहा कि वो जो चाहें कह सकते हैं; यह उनका अधिकार है, लेकिन आयोग इसकी जांच करेगा और उचित निर्णय लेगा।” बता दें कि अभ्यर्थी प्रतियोगी परीक्षा (सीसीई) 2024 को रद्द करने की मांग कर रहे हैं, लेकिन आयोग ने दोबारा परीक्षा आयोजित करने को लेकर साफ इनकार कर दिया है।