बीसीसीआइ सचिव अनुराग ठाकुर और हिमाचल प्रदेश के मुख्यमंत्री वीरभद्र सिंह के बीच हुई मुलाकात के बाद भी भारत और पाकिस्तान के बीच विश्व कप टी20 मैच के धर्मशाला में आयोजन पर अनिश्चितता जारी है। रिपोर्टों के अनुसार मुख्यमंत्री ने बीसीसीआइ सचिव को कहा कि वह कांगड़ा में पूर्व सैनिक और शहीदों के परिवारों से मामला सुलझा लें जो 19 मार्च को होने वाले इस मुकाबले के खिलाफ हैं। उन्होंने ठाकुर से कहा कि सरकार पूर्व सैनिकों और शहीदों के परिवारों की भावनाओं का सम्मान करती है और उनके खिलाफ बल के इस्तेमाल का सहारा नहीं ले सकती।
हालांकि ठाकुर ने मुख्यमंत्री से कहा कि मैच काफी समय पहले ही निर्धारित हो गया था और अगर यह रद्द होता है तो यह राज्य के हित में नहीं होगा और उनसे इसे कार्यक्रम के अनुसार आयोजित करने का आग्रह किया। मुख्यमंत्री ने गेंद बीसीसीआइ के पाले में डाल दी है और ठाकुर से इस मैच का विरोध करने वाले पूर्व सैनिकों और शहीदों के परिवारों से मामला निपटाने को कहा।
वीरभद्र ने कहा कि जनता की राय मैच के खिलाफ है, पूर्व सैनिक सम्मानीय लोग हैं और बीसीसीआइ का पूर्व सैनिकों से बात करना उचित रहेगा। उन्होंने कहा कि सरकार मैचों के लिये सुरक्षा प्रदान करती रही है लेकिन इस बार शहीदों के परिवार और पूर्व सैनिक इसका विरोध कर रहे हैं। वे धर्मशाला में शहीद स्मारक पर एकत्रित हुए और उन्होंने इस मैच के आयोजन के खिलाफ शपथ ली। वीरभद्र ने कहा कि हम मैच रोक नहीं रहे हैं, लेकिन सरकार शहीदों के परिवारों और पूर्व सैनिकों के खिलाफ बंदूकों, लाठी और आंसू गैस का सहारा नहीं ले सकती।
जब ठाकुर की शंका के बारे में पूछा गया कि अगर मैच रद्द होता है तो आइसीसी धर्मशाला में कोई भी अंतरराष्ट्रीय मैच कराने के बारे में विचार नहीं करेगा तो मुख्यमंत्री ने कहा- मैं अपने राज्य के हालात के बारे में चिंतित हूं।