उत्तर प्रदेश की संगम नगरी अपनी आध्यात्मिक छवि के काफी मशहूर है, लेकिन यहां के कुछ अपराधी भी कुख्यात है। इन्हीं में से एक नाम निहाल कुमार उर्फ बच्चा पासी का है। बच्चा पासी ने अपराध के शुरुआती दिनों में खूब आतंक मचाया और अंडरवर्ल्ड डॉन छोटा राजन का शार्प शूटर बन गया फिर उसने सफेदपोश बन सियासी डोर थामीं।
प्रयागराज के धूमनगंज के रहने वाले निहाल कुमार उर्फ बच्चा पासी का आपराधिक इतिहास साल 2001 से शुरू होता है। जब उस पर पहली बार आबकारी अधिनियम के तहत मुकदमा दर्ज हुआ। फिर इसी साल बच्चा पर नशीले पदार्थों की तस्करी के आरोप लगा और केस दर्ज हुआ फिर सिलसिला बनता गया। साल 2003 में फिर उस पर सिविल लाइन इलाके में लूट और डकैती का मामला दर्ज हुआ।
साल दर साल बढ़ते जुर्म के साथ मुकदमों की फेहरिस्त भी लंबी हो गई। बच्चा जरायम की दुनिया में चर्चित तब हुआ, जब उसका नाम साल 2006 में मुंबई के काला घोड़ा शूटआउट में आया। इसी शूटआउट ने बच्चा पासी को बच्चा भाई में बदल दिया। अब इलाहाबाद में उसका खौफ और बढ़ गया क्योंकि उसे अब अंडरवर्ल्ड डॉन छोटा राजन का गुर्गा कहा जाने लगा।
इसी काला घोड़ा कांड में खान मुबारक, जफर सुपारी और राजेश यादव का नाम सामने आया था। बच्चा इस शूटआउट के मामले में मुंबई में जेल में भी रहा पर बाद में वह बाहर आ गया। साल 2007 आया तो उसका नाम इलाहाबाद के कचहरी लूट व हत्या में आया लेकिन इसी साल वह बसपा के टिकट पर पार्षद बन गया। यह पहली बार था जब बिना किसी राजनीतिक अनुभव के बच्चा सियासत में कदम रख चुका था।
साल 2012 में अपनी पत्नी रजिता को भी चुनाव में उतारा और पार्षद बनाया। साल 2017 में एक बार फिर से बच्चा ने दूसरी बार पार्षद का चुनाव जीता। बच्चा पासी पिछले 13 साल से इस सीट का काबिज है। अपराध की दुनिया में रंग जमाने के बाद बच्चा पासी ने राजनीति में धाक जमाई। खौफ और सियासी गठजोड़ ने उसे कई सालों तक कुर्सी पर टिका रखा।
पुलिस के मुताबिक, धूमनगंज निवासी निहाल कुमार उर्फ बच्चा पासी पर दो दर्जन से ज्यादा मुकदमे दर्ज हैं। इसके अलावा वह सुलेमसराय से दो बार पार्षद भी रह चुका है। बच्चा पासी का नाम हाल ही के सालों में तब चर्चा में आया जब प्रशासन ने उसके घर पर बुलडोजर चला दिया और आलीशान मकान को ढहा दिया। बताया गया कि उसने यह मकान बैगर नक़्शे के तैयार किया था।
पुलिस रिकॉर्ड के मुताबिक, बच्चा पासी को डी-46 गैंग का सरगना बताया गया है जिसमें कुल 15 सदस्य है। हालांकि, बच्चा पासी की तरफ से गैंग का सरगना बताए जाने को लेकर हाई कोर्ट में याचिका भी दाखिल की गई थी। इस याचिका में बताया गया था कि बच्चा पासी दर्ज मामलों में अधिकतर से बरी हो चुका है। कुछ मामले न्यायालय में विचाराधीन है, जिनमें बच्चा पासी जमानत पर है।
बीते कुछ समय से बच्चा पासी को लेकर पुलिस ने तलाशी अभियान शुरू किया था, जिसमें उसे फरार बताया गया था। साथ ही बच्चा और उसके भाई के खिलाफ अगस्त महीनें में धूमनगंज थाने में नामजद मुकदमा दर्ज कराया गया था। जिसमें बच्चा पर जबरन जमीन कब्जाने का आरोप लगा था।