यौन अपराधों से बच्चों की विशेष सुरक्षा (POCSO) अदालत ने शुक्रवार को 16 वर्षीय लड़की के कथित यौन शोषण के मामले में भाजपा मेरठ इकाई के एक नेता के खिलाफ गैर-जमानती वारंट (NBW) जारी किया। पॉक्सो अदालत ने मेरठ पुलिस को उसे 8 अगस्त तक पेश करने का भी निर्देश दिया, वर्ना उसकी संपत्ति कुर्क करने की प्रक्रिया शुरू की जाएगी। पुलिस ने कहा कि मुख्य आरोपी 50 साल के वकील को 21 जून को उत्तराखंड की राजधानी देहरादून में गिरफ्तार किया गया था और तब से वह जेल में बंद था।
आरोपी नेता के खिलाफ कार्रवाई के लिए प्रदेश नेतृत्व से मंजूरी का इंतजार- भाजपा
भाजपा महानगर अध्यक्ष मुकेश सिंघल ने बताया कि आरोपी नेता के खिलाफ कार्रवाई के लिए प्रदेश नेतृत्व से मंजूरी मांगी गई है। पुलिस ने कहा कि एफआईआर में नामजद भाजपा नेता सहित दो स्थानीय नेता वकील के भतीजे हैं। पुलिस ने कहा कि 27 मई को लड़की के भाई द्वारा दर्ज कराई गई शिकायत के आधार पर तीनों पर भारतीय दंड संहिता (IPC) की धारा 376 (बलात्कार के लिए सजा) और यौन अपराधों से बच्चों का संरक्षण (POCSO) अधिनियम के तहत मामला दर्ज किया गया था।
आरोपी को जल्द ही अदालत में पेश किया जाएगा- मेरठ एसएसपी रोहित सिंह सजवाण
मेरठ के वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक (एसएसपी) रोहित सिंह सजवाण ने कहा कि एनबीडब्ल्यू जारी होने के बाद आरोपियों की गिरफ्तारी के लिए सभी संभावित स्थानों पर छापेमारी की जा रही है। एसएसपी ने कहा, उसे जल्द ही गिरफ्तार कर अदालत में पेश किया जाएगा। दूसरे नेता पर लगे आरोप पर एसएसपी ने कहा, ‘हम आरोपों की जांच कर रहे हैं और दोषी पाए जाने पर उन्हें कानूनी कार्रवाई का सामना करना पड़ेगा।’
मजिस्ट्रेट के सामने 14 जून को सीआरपीसी धारा 164 के तहत नाबालिग ने दर्ज कराया बयान
मजिस्ट्रेट के सामने 14 जून को सीआरपीसी धारा 164 के तहत दर्ज किए गए अपने बयान में लड़की ने आरोप लगाया कि वकील ने “उसके कई अश्लील वीडियो बनाए, जिसके नाम पर उसने उसे अपने और अपने दोस्तों के साथ शारीरिक संबंध जारी रखने के लिए मजबूर किया।” एफआईआर में किशोरी ने आगे आरोप लगाया कि वकील और उसके दोस्तों ने न केवल उसके कार्यालय में बल्कि पार्टियों में भी उसके साथ “शारीरिक हमला किया” जहां जबरदस्ती उनके साथ जाने के लिए मजबूर किया गया था।
वकील की गिरफ्तारी के लिए मेरठ पुलिस ने पांच टीमें गठित की थीं, काफी सामान जब्त
फरार चल रहे वकील की गिरफ्तारी के लिए मेरठ पुलिस ने पांच टीमें गठित की थीं। पुलिस ने 16 जून को वकील के आवास पर भी छापा मारा और उसका लैपटॉप, डेस्कटॉप और पासपोर्ट जब्त कर लिया ताकि यह सुनिश्चित किया जा सके कि वह देश से बाहर न जा सके। एक पुलिस अधिकारी ने कहा था, “हमने उसके कार्यालय से महिलाओं की कई छोटी पोशाकें भी जब्त की हैं, जो नाबालिग के अनुसार वकील उसे और अन्य महिलाओं को देता था।”
दो महिलाओं और लड़की के साथ वकील का वीडियो वायरल होने के बाद एक्शन
सूत्रों के मुताबिक, एक वीडियो जिसमें वकील कथित तौर पर लड़की समेत कम से कम दो महिलाओं के साथ दिख रहा था वायरल होने के बाद मेरठ बार एसोसिएशन ने 10 जून को एक आपात बैठक बुलाई और सर्वसम्मति से उसे वरिष्ठ पद से निष्कासित करने का फैसला किया। मेरठ बार एसोसिएशन ने कहा कि वह सुनिश्चित कर रहा है कि वकालत करने के लिए उसका रजिस्ट्रेशन भी रद्द कर दिया जाए। वकील की जमानत याचिका पर 31 जुलाई को सुनवाई होगी।
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सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने भाजपा और यूपी सरकार पर निशाना साधा
इस बीच, समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव ने पार्टी नेता के खिलाफ गैर जमानती वारंट जारी करने को लेकर उत्तर प्रदेश में भाजपा के नेतृत्व वाली सरकार पर निशाना साधा। उन्होंने कहा, ”मेरठ से जो खबर आ रही है वह भाजपा सरकार का सिर शर्म से झुकाने के लिए काफी है। एक नाबालिग लड़की के यौन शोषण के मामले में भाजपा की मेरठ शहर इकाई के महासचिव को आरोपी बनाया गया है।
भाजपा ने कहा- पार्टी की छवि खराब, आरोपी के खिलाफ सख्त कार्रवाई करे पुलिस
भाजपा मेरठ इकाई के प्रमुख मुकेश सिंघल ने कहा कि उन्होंने इस शर्मनाक कृत्य में पार्टी नेता की संलिप्तता के बारे में लखनऊ में पार्टी नेतृत्व को अवगत करा दिया है। उन्होंने कहा, “पार्टी नेतृत्व उनके भाग्य का फैसला करेगा। यह बेहद शर्मनाक कृत्य है और इससे पश्चिमी यूपी में पार्टी की छवि को नुकसान पहुंचेगा। मुझे उम्मीद है कि पुलिस सख्त कार्रवाई करेगी ताकि अन्य लोग इस तरह के निंदनीय कृत्यों से पार्टी की छवि खराब करने की हिम्मत न कर सकें।”