Inter-State Human Trafficking Case: दिल्ली पुलिस की अपराध शाखा (Delhi Police Crime Branch) ने शनिवार को विभिन्न राज्यों में मानव तस्करी के कई मामलों में फरार एक मुख्य आरोपी को गिरफ्तार किया है। पुलिस अधिकारियों ने शनिवार को बताया कि आरोपी की पहचान मानव तस्करी गिरोह के सदस्य 39 वर्षीय विशाल सिंह के रूप में की है। पुलिस 2019 के एक केस में सिंह से लगातार पूछताछ कर रही है।

साल 2019 से फरार मानव तस्कर विशाल सिंह की गिरफ्तारी पर था 50 हजार का इनाम

विशेष पुलिस आयुक्त (अपराध) रवींद्र यादव ने बताया कि 21 नवंबर 2019 को एक महिला की शिकायत पर मामला दर्ज किया गया था। उसने बताया था कि उसकी दो बेटियां लापता हो गई हैं। पुलिस जांच के दौरान छोटी बेटी का पता लगाया गया और पता चला कि लापता लड़कियों का यौन शोषण किया गया था। बाद में एक महिला सहित चार लोगों को पकड़ लिया गया, लेकिन मुख्य आरोपी विशाल सिंह 2019 से फरार था। दिल्ली पुलिस की ओर से बाद में उसकी गिरफ्तारी के लिए 50,000 रुपये के इनाम की घोषणा की गई थी।

शादी का झांसा, बार डांसर की नौकरी और देह व्यापार में लड़कियों को धकेलने का आरोप

विशेष पुलिस आयुक्त (अपराध) रवींद्र यादव के अनुसार, पूछताछ के दौरान विशाल सिंह ने कहा कि वह विभिन्न राज्यों में अलग-अलग होटलों के बीच अपने ठिकाने बदलता रहता था और सह-आरोपियों के साथ मिलकर उसने लड़कियों को देह व्यापार में धकेल दिया। उन्होंने कहा कि विशाल ने कई अगवा लड़कियों को क्लबों में बार डांसर के रूप में काम दिलाया। यादव ने कहा कि उसने शादी के बहाने कई लड़कियों का यौन शोषण भी किया।

केंद्रशासित प्रदेशों में दिल्ली में मानव तस्करी के सबसे अधिक मामले दर्ज

राष्ट्रीय अपराध रिकॉर्ड ब्यूरो (NCRB) के आंकड़ों के मुताबिक साल 2021 में देश के आठ केंद्रशासित प्रदेशों में से राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में मानव तस्करी के सबसे अधिक मामले दर्ज किए गए थे। इसके अलावा साल 2020 की तुलना में इसमें 73.5 प्रतिशत की बढ़त दर्ज की गई थी। सरकारी आंकड़ों के अनुसार, साल 2021 में मानव तस्करी के सभी 509 पीड़ितों को बचा लिया गया था।

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वहीं, मानव तस्करी से पीड़ित अधिकतर लोग बंधुआ मजदूरी से जबकि उनमें से कुछ मामले यौन शोषण और छोटे अपराधों से जुड़े थे। हालांकि, पीड़ितों में से किसी की भी बच्चों से जुड़ी अश्लील फिल्मों (चाइल्ड पोर्नोग्राफी), भीख मांगने या मानव अंगों को हटाने के लिए तस्करी नहीं की गई थी।