Assam Police Paper Leak: असम में पुलिस भर्ती परीक्षा के प्रश्न पत्र लीक होने के मामले में अब पुलिस को भारतीय जनता पार्टी के एक नेता की तलाश है। यहां के डायरेक्टर जनरल ऑफ पुलिस भास्कर ज्योति महांथा ने एक प्रेस कॉन्फ्रेंस में कहा कि ‘हम भारतीय जनता पार्टी के नेता दीबान डेका और पूर्व डीआईजी पीके दत्ता को गिरफ्तार करने चाहते हैं। यह दोनों फरार चल रहे हैं। हमने तय किया है कि हम इनकी सूचना देने वालों को 1 लाख रुपए का इनाम देंगे…इस मामले में कोई भी आरोपी फिर चाहे वो किसी भी पद पर हो अगर उसकी संलिप्ता पाई जाती है तो उसपर कड़ी कार्रवाई होगी।’

इस मामले में सीआईडी और असम पुलिस दोनों ही अपने-अपने स्तर से जांच-पड़ताल कर रहे हैं। अब तक सीआईडी ने इस मामले में 4 लोगों को पकड़ा है जबकि गुवाहाटी पुलिस की क्राइम ब्रांच ने 9 लोगों को गिरफ्तार किया है। इसके अलावा नलबारी जिले की पुलिस ने भी पेपर लीक मामले में 6 लोगों को गिरफ्तार किया है।

पुलिस इस मामले में पूर्व डीआईजी पीके दत्ता को प्रमुख आरोपी मानती है और बीजेपी नेता तथा पूर्व डीआईजी के खिलाफ लुक आउट नोटिस भी जारी किया गया है ताकि वो देश छोड़ कर फरार ना हो पाएं। रिटायर्ड डीआईजी के खिलाफ अवैध संपत्ति की जांच अलग से भी चल रही है। आयकर विभाग, ईडी और अन्य संबंधित विभाग को सूचना मिली है कि राज्य और राज्य से बाहर पूर्व डीआईजी ने अकूत संपत्ति जमा कर रखी है।

बताया जा रहा है कि पीके दत्ता के नाम से गुवाहाटी में कम के कम चार आलीशान होटल औऱ कई रिहायशी प्रॉपर्टीज हैं। इसके अलावा सच्चर जिले में उनके नाम से 1600 बीघा जमीन भी बताई जा रही है, डिब्रूगढ़ में उनके नाम से अपार्टमेंट और देश के कई अन्य राज्यों में भी उनके नाम से संपत्ति होने की बात सामने आ रही है।

सीआईडी के इंस्पेक्टर जनरल सुरेंद्र कुमार ने बताया कि पीके दत्ता के घर और होटल पर छापेमारी के दौरान पुलिस भर्ती परीक्षा से जुड़े कागजात, 1.522 किलो सोना और एक पिस्टल बरामद किया गया है। इस पिस्टल का लाइसेंस एक्सपायर हो चुका है। कहा जा रहा है कि पुलिस टीम ने प्रश्न पत्र लीक मामले में पूर्व डीआईजी के ड्राइवर और एक अंगरक्षक को गिरफ्तार कर लिया है।

दीबान डेका के बारे में बताया जा रहा है कि उनके फेसबुक से पता चला है कि वो बीजेपी किसान मोर्चा के नेशनल एग्जीक्यूटिव मेम्बर हैं। बीते गुरुवार को उन्होंने कहा था कि पुलिस भर्ती परीक्षा के पेपर लीक मामले में उनकी कोई भूमिका नहीं है और इसके बाद से वो असम से फरार हो गए हैं। पुलिस को आशंका है कि इस स्कैम में कई बड़े अधिकारियों का नाम अभी सामने आ सकते हैं।

State Level Police Recruitment Board (SLPRB) के अध्यक्ष प्रदीप कुमार ने इस मामले में गड़बड़ियों की जिम्मेदारी लेते हुए बीते रविवार को अपने पद से इस्तीफा दे दिया था। उन्होंने पहले कहा था कि इस मामले में वो बीजेपी नेता के साथ सीआईडी मुख्यालय में गए थे और उस वक्त उन्होंने केस दर्ज कराया था। हालांकि उस वक्त दीबान डेका एक शिकायतकर्ता के तौर पर गए थे इसलिए उन्हें पकड़ा नहीं जा सका। उस समय एफआईआर में उनका नाम भी नहीं था। बाद में जांच के दौरान उनका भी नाम आरोपी के तौर पर एफआईआर में जोड़ा गया।

पुलिस ने साफ किया है कि हम इस मामले में आरोपियों को दोबोचने के लिए ज्यादा से ज्यादा तकनीक का सहारा ले रहे हैं। ऐसे में दीबान डेका भी आज या कल पकड़े ही जाएंगे। इस मामले में पुलिस ने एक लॉज के मालिक को पकड़ा है। पुलिस का कहना है कि इस लॉज में लीक प्रश्न पत्र के साथ 50 छात्रों का मॉक टेस्ट किया गया था। यह टेस्ट, परीक्षा से एक दिन पहले किया गया था। पुलिस की जांच में पता चला है कि ऐसा ही एक टेस्ट पूर्व डीआईजी के होटल में भी हुआ था।

आपको बता दें कि 20 सितंबर को असम पुलिस अनआर्म्ड सब-इंस्पेक्टर की परीक्षा थी। 597 रिक्त पदों पर अभ्यर्थियो की नियुक्ति होनी थी। लेकिन परीक्षा प्रश्न पत्र के लीक होने की खबर सामने आते ही परीक्षा शुरू होने के कुछ ही समय बाद परीक्षा को रद्द कर दिया गया था। इस परीक्षा के लिए कुल 154 परीक्षा केंद्र बनाए गए थे औऱ 66,000 अभ्यर्थियों ने इसमें हिस्सा लिया था।