उत्तर प्रदेश के लोगों ने केंद्र सरकार की ओर से आम लोगों के लिए चलाई जाने वाली पेंशन योजना अटल पेंशन योजना (एपीवाई) के लिए सबसे अधिक प्रीमियम का भुगतान कियाहै। इसके बाद महाराष्ट्र, कर्नाटक, पश्चिम बंगाल और बिहार के लाभार्थियों ने योजना में सबसे अधिक पंजीकरण कराया है, जिसका खुलासा एक आरटीआई में हुआ है।
एक सामाजिक कार्यकर्ता रॉबिन ज़ैचियस द्वारा दायर आरटीआई के जवाब से पता चलता है कि उत्तर प्रदेश ने एपीवाई लॉन्च (2015-16) होने के बाद से अब तक (मई 2022 तक) कुल 2082 करोड़ रुपये का प्रीमियम योगदान दिया है। महाराष्ट्र ने अब तक कुल 1939 करोड़ रुपये का प्रीमियम दिया है, जबकि कर्नाटक ने इस अवधि के दौरान 16010 करोड़ रुपये का प्रीमियम चुकाया है। पश्चिम बंगाल और बिहार ने क्रमश: 1572 करोड़ रुपये और 1552 करोड़ रुपये का भुगतान किया है। अटल पेंशन योजना में सबसे अधिक योगदान देने वाले अन्य बड़े राज्यों में तमिलनाडु, आंध्र प्रदेश और गुजरात हैं। इसके अलावा, मध्य प्रदेश, झारखंड, केरल, दिल्ली, छत्तीसगढ़, हरियाणा और असम कुछ अन्य राज्य हैं जिनकी संख्या 300 करोड़ रुपये से 800 करोड़ रुपये के बीच है।
इस योजना में सबसे कम सब्सक्राइब अंडमान और निकोबार द्वीप समूह, सिक्किम, पांडिचेरी, नागालैंड, मिजोरम, मेघालय, मणिपुर, अरुणाचल प्रदेश, चंडीगढ़ और लक्षद्वीप के राज्य और केंद्र शासित प्रदेशों का नाम शामिल हैं। यहां यह ध्यान दिया जाना चाहिए कि नामांकन की संख्या में महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है और इन राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों की जनसंख्या भारत के अन्य राज्यों की तुलना में कम है।
उत्तर प्रदेश, बिहार, महाराष्ट्र, तमिलनाडु और मध्य प्रदेश जैसे राज्य भारत में सबसे अधिक जनसंख्या वाले राज्य हैं। 2015 में शुरू हुई अटल पेंशन योजना असंगठित क्षेत्र के कम आय वाले लोगों और श्रमिकों के लिए एक पेंशन योजना है। पेंशन फंड नियामक और विकास प्राधिकरण (पीएफआरडीए) द्वारा चलाई जाने वाली एपीवाई 18 से 40 वर्ष के आयु वर्ग के लोगों के लिए हैं।
जब कोई व्यक्ति इस योजना में नामांकन करता है और उसके द्वारा चुनी गई राशि के आधार पर प्रीमियम यह किया जाता है। सब्सक्राइबर्स को 60 साल की उम्र में 1,000 रुपये या 2,000 रुपये या 3,000 रुपये या 4,000 रुपये या 5,000 रुपये की न्यूनतम मासिक पेंशन की गारंटी मिलती है। इस योजना को उत्तर प्रदेश में सबसे अधिक किया गया है, इसके बाद बिहार, पश्चिम बंगाल, महाराष्ट्र, मध्य प्रदेश और आंध्र प्रदेश का नंबर आता है।