Anand Mahindra News: महिंद्रा एंड महिंद्रा ग्रुप के चेयरमैन आनंद महिंद्रा ने शुक्रवार (5 अगस्त) को कंपनी की एजीएम (Annual General Meeting) को संबोधित किया। इस मौके पर महिंद्रा ने कहा कि वैश्विक आपूर्ति श्रंखला में चीन पर दुनिया के देशों की निर्भरता घटती जा रही है और ये भारत जैसे देशों के लिए एक बड़ा अवसर है।

एजीएम में दिए अपने बयान में उन्होंने कहा कि परिस्थितियां पूरी तरह भारत के साथ हैं, लेकिन हमें इसका पूरा लाभ उठाने के लिए सबसे जरूरी है कि रोजगारविहीन विकास के कारण पैदा हुई खाली जगह को भरा जाए।

महिंद्रा ने सामाजिक अशांति की ओर इशारा करते हुए कहा कि हमारे देश में दुनिया की सबसे बड़ी युवा आबादी है और सामाजिक अशांति की कल्पना करना मुश्किल नहीं है कि अगर देश में नौकरियां नहीं बढ़ती हैं।

सेंटर फॉर मॉनिटरिंग इंडियन इकोनॉमी (सीएमआईई) के आंकड़ों का हवाला देते हुए उन्होंने कहा कि भारतीय बेरोजगारी दर लगभग 7-8 प्रतिशत है। ऐसा इसलिए है क्योंकि नौकरी की वृद्धि दर जीडीपी विकास दर के साथ तालमेल नहीं रखती है। सरकार ने 2023 तक 10 लाख नौकरी देने का वादा किया है। हमारे देश के पास 90 करोड़ लोगों का कार्यबल है। अभी कोफी कुछ करने की जरूरत है।

आगे उन्होंने रोजगार का मुद्दा उठाते हुए कहा कि देश का कुल कार्यबल का केवल 40 फीसदी हिस्सा ही कार्य कर रहा है या फिर काम की तलाश में है। इसके विपरीत अमेरिका में कुल कार्यबल के 60 फीसदी से भी अधिक लोग काम करते हैं। मौजूदा समय में रोजगार सृजन मुख्य रूप से गिग इकॉनमी के निचले छोर पर हो रहा है – उबेर के लिए ड्राइवर और जोमैटो के लिए फूड डिलीवरी। यह पर्याप्त नहीं है, बड़े पैमाने पर नौकरियां पैदा करने और भारत के पक्ष में बढ़ रहे वैश्विक अवसरों का लाभ उठाने के लिए मैन्युफैक्चरिंग को बढ़ावा देने की जरूरत है।

महिंद्रा एंड महिंद्रा ने पहली तिमाही घोषित नतीजों में स्टैंडअलोन आधार पर 19,617 करोड़ की आय दर्ज की है, जो कि पिछले सालाना आधार पर 67 फीसदी अधिक है, जबकि इस दौरान कंपनी का मुनाफा पिछले साल के मुकाबले 67 फीसदी चढ़कर 1,430 करोड़ पर रहा।