आत्मनिर्भर भारत अभियान के तहत केंद्र सरकार ने प्रधानमंत्री स्ट्रीट वेंडर्स आत्मनिर्भर निधि (PM स्वनिधि) योजना की शुरुआत की थी। इस योजना के तहत जरूरतमंद स्ट्रीट वेंडर्स को 10 हजार रुपये तक का लोन बांटा जा रहा है, ताकि कोरोना काल में हुए नुकसान की भरपाई हो सके। सरकार की आत्मनिर्भर अभियान मुहिम से ऑनलाइन फूड डिलिवरी करने वाली कंपनी स्विगी भी जुड़ी है।
स्विगी ने कहा कि पहले चरण में कंपनी 125 शहरों में 36,000 रेहड़ी-पटरी वालों को जोड़ेगी। स्विगी के मुताबिक उसके मंच से जुड़ते समय रेहड़ी-पटरी वालों को भारतीय खाद्य सुरक्षा एवं मानक प्राधिकरण (एफएसएसएआई) के साथ पंजीकृत किया जाएगा। कंपनी अपने विक्रेताओं को डिजिटल कौशल जैसे ऐप को हैंडिल करना, मेन्यू डिजिटलीकरण और मूल्य निर्धारण समेत अन्य जरूरतों के लिए प्रशिक्षित करेगी, ताकि ग्राहकों को कोई दिक्कत न हो।
इसके अलावा उन्हें खाद्य सुरक्षा प्रशिक्षण और प्रमाण पत्र दिया जाएगा। आपको बता दें कि स्विगी ने आवास एवं शहरी मामलों के मंत्रालय के साथ अहमदाबाद, वाराणसी, चेन्नई, दिल्ली और इंदौर में एक पायलट परियोजना लागू की थी, जिसके तहत 300 से अधिक रेहड़ी-पटरी वाले पहले ही उसके मंच से जु़ड़ गए हैं।
बता दें कि स्वनिधि योजना के तहत अब तक 29 लाख से ज्यादा लोगों ने लोन के लिए अप्लाई किया है। वहीं, करीब 16 लाख लोन सेंक्शन कर दिए गए हैं। योजना रेहड़ी-पटरी या खोमचा लगाने वालों के लिए है। इस स्कीम के तहत 10,000 रुपये का सस्ता कर्ज उपलब्ध कराया जा रहा है। इस कर्ज के लिए कोई कड़ी शर्त भी नहीं होगी।
रेहड़ी-पटरी वालों को यह कर्ज एक साल में मासिक किस्तों में लौटाना होगा। कर्ज समय पर चुकाने वाले लोगों को 7 फीसदी सालाना की ब्याज सब्सिडी भी मिलेगी। सरकार के मुताबिक इस योजना का लाभ रेहड़ी-पटरी लगाने वाले 50 लाख लोगों को मिलेगा।

