8th Pay Commission: सरकारी कर्मचारियों की 8वें वेतन आयोग को लेकर हर एक अपडेट पर नजर रखें हुए है। उन्होंने इस 8वें वेतन आयोग से सैलरी और पेंशन में बेहतर हाइक की उम्मीद बनाए रखी है। एम्बिट कैपिटल की एक हालिया रिपोर्ट के अनुसार, नए सैलरी स्ट्रक्चर से कर्मचारियों के पारिश्रमिक में 30-34% की इजाफा हो सकता है। इसका अगर देश भर के 1 करोड़ से अधिक सरकारी कर्मचारियों और रिटायर्ड कर्मचारियों पर पड़ेगा। अगर इसे लागू किया जाता है, तो यह संसोधन 2026 या वित्तीय वर्ष 2027 तक लागू हो सकता है और इससे सरकारी खजाने पर 1.8 लाख करोड़ रुपये का भारी बोझ पड़ सकता है।

मौजूदा सैलरी और पेंशन स्ट्रक्चर 7वें वेतन आयोग (7th Pay Commission) पर आधारित है। यह स्ट्रक्चर जनवरी 2016 में लागू हुआ था। आमतौर पर हर दस वर्ष में महंगाई और आर्थिक बदलावों को ध्यान में रखते हुए सैलरी स्ट्रक्चर में संशोधन के लिए एक नया आयोग गठित किया जाता है। 8वें वेतन आयोग से भी इस परंपरा को जारी रखने की उम्मीद है, जिसमें रक्षा कर्मियों और पेंशनभोगियों सहित केंद्र सरकार के कर्मचारियों के लिए संशोधित वेतनमान की पेशकश की जाएगी।

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इतनी बढ़ सकती है सैलरी

अपेक्षित संशोधन के मुख्य कंपोनेंट में से एक फिटमेंट फैक्टर (एक गुणक जिसका इस्तेमाल नए बेस पे को निर्धारित करने के लिए किया जाता है) है। एम्बिट कैपिटल का अनुमान है कि 8वें वेतन आयोग के लिए फिटमेंट फैक्टर 1.83 से 2.46 के बीच हो सकता है यानी मौजूदा 18,000 रुपये की न्यूनतम सैलरी बढ़कर 32,940 रुपये (1.83 पर) या 44,280 रुपये (2.46 पर) हो सकती है।

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उदाहरण से समझे

इसको आप एक उदाहरण से समझ सकते हैं। उदाहरण के लिए, 50,000 रुपये का मौजूदा बेस सैलरी फिटमेंट फैक्टर के निचले सिरे पर 91,500 रुपये और ऊपरी सिरे पर 1.23 लाख रुपये तक बढ़ सकता है।

आर्थिक विकास को बढ़ावा

एक्सपर्ट का मानना है कि नया वेतन आयोग आर्थिक विकास के लिए उत्प्रेरक (catalyst) का काम करेगा। इतने बड़े कर्मचारी बेस पर सैलरी हाइक का व्यापक प्रभाव रिटेल, रियल एस्टेट और सर्विस सेक्टर पर गहरा प्रभाव डाल सकता है।