मां और बेटी से बलात्कार और गैरकानूनी ढंग से कैद रखने के आरोप में पुलिस ने सऊदी अरब के एक राजनयिक और उसके करीबी कुछ अन्य लोगों के खिलाफ मामला दर्ज किया है।
मां (44) और बेटी (22) नेपाल की हैं। पूछताछ के बाद एक दर्दनाक सच सामने आया है। मां-बेटी ने बताया कि उनके साथ पिछले चार महीने लगातार रेप होते रहे। उन्हें अपने जिंदा होने पर आश्चर्य हो रहा है।
लड़की ने बताया उसके साथ एक दिन में एक या दो नहीं बल्कि 7-8 लोग रेप करते थे।
सोमवार रात को पुलिस ने काफी देर जूझने के बाद राजनयिक के घर पर छापा मारकर इन महिलाओं को मुक्त कराया। यह राजनयिक अभी पुलिस के हाथ नहीं आया है।
पुलिस ने राजनयिक के खिलाफ दफा 376 डी, (सामूहिक बलात्कार), 376 (बलात्कार), 377 (अप्राकृतिक यौनाचार), 342 (गलत ढंग से बंधक बनाकर रखना), 120 बी (आपराधिक साजिश), 323 (चोट पहुंचाना), और दफा 506 (धमकाने) का मामला दर्ज कर उनकी तलाश शुरू कर दी है। राजनयिक की पत्नी, और सऊदी अरब के दो नागरिकोंव अन्य लोगों को भी इस मामले में आरोपी बनाया गया है।
इस बारे में पूछने पर सऊदी अरब के राजदूत सऊद मोहम्मद अलसाती ने कहा कि यह एकदम गलत है। इस मामले की जांच पुलिस कर रही है, इसलिए इस पर फिलहाल कोई टिप्पणी करना उचित नहीं होगा। गुड़गांव के सहायक पुलिस आयुक्त (अपराध ) राजेश कुमार ने बताया कि डीएलएफ फेज-दो के कैटरीना काप्लेक्स हाउस में सोमवार रात को सऊदी अरब दूतावास के एक वरिष्ठ राजनयिक के घर पर छापा मारा गया था।

खबर मिली थी कि इस घर में दो महिलाओं को बंधक बना कर रखा गया है। छापे के दौरान राजनयिक के आवास पर तैनात गार्डों ने महिला पुलिस कर्मियों पर हमला किया। इस घर में दो महिलाओं को एक माह से बंद कर रखा गया था। नेपाल की दोनों पीड़ित महिलाएं घरेलू काम के लिए लाई गई थीं।
पुलिस सूत्रों ने बताया कि इन महिलाओं को एक प्लेसमेंट एजंसी के जरिए काम पर रखा गया था। पुलिस ने बताया कि राजनयिक ने चार माह से इस घर को किराए पर ले रखा था। इस राजनयिक के ‘मेहमान’ भी इन महिलाओं को हवस का शिकार बनाते थे।
राजेश कुमार के मुताबिक, इन दो महिलाओं को सऊदी अरब भी ले जाया गया था और पिछले माह ही लौटी थीं। इसके बाद उन्हें गुड़गांव वाले घर से नहीं निकलने दिया गया। पुलिस के अनुसार, इन महिलाओं को सऊदी अरब में अच्छी नौकरी का लालच देकर एक औरत ने फंसाया था और वह इन्हें दिल्ली लेकर आई थी। इन्हें यहां एक लाख रुपए में बेचा गया। एक दलाल ने इन्हें बाद में राजनयिक के हवाले कर दिया। इन पीड़ित महिलाओं के बारे में नेपाल दूतावास ने गुड़गांव पुलिस को एक पत्र भी लिखा है।
पुलिस सूत्रों ने पुष्टि की कि इन महिलाओं को कुछ माह तक जेद्दा में रखा गया और इसके बाद भारत लाकर बंधक बनाकर रखा गया। शिकायत में मां-बेटी ने आरोप लगाया कि उनके साथ लगातार रेप किया गया। राजेश कुमार ने बताया कि महिलाओं की चिकित्सा जांच के बाद उनके साथ बलात्कार और यौन जबरदस्ती की पुष्टि हुई है।
एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने बताया कि कुछ दिनों पहले एक नौकरानी राजनयिक के घर काम के लिए गई थी। इन नेपाली महिलाओं की हालत देखकर वह भाग खड़ी हुई और एक स्वयंसेवी संस्था को जानकारी दी। उसकी दी जानकारी के बाद पुलिस हरकत में आई और राजनयिक के घर पर छापा मारकर मां-बेटी को छुड़ाया गया।
देर शाम गुड़गांव पुलिस के एक अधिकारी ने कहा कि अभी तक कोई कोई गिरफ्तारी नहीं हुई है। पर पुलिस सहयोग के लिए लगातार नेपाल दूतावास और सऊदी दूतावास के संपर्क में है। इस बीच विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता ने कहा, हमने स्थानीय पुलिस से रपट मांगी है। सऊदी दूतावास भी विदेश मंत्रालय के संपर्क में है।