नागरिकता कानून के विरोध में देश के अलग-अलग हिस्सों में प्रदर्शन हो रहे हैं। आम लोगों के साथ ही राजनीतिक दल भी इस कानून के विरोध में सड़कों पर उतर आए हैं। वामपंथी दलों ने गुरुवार को भारत बंद का आह्वाहन किया जिसका समर्थन कांग्रेस समेत कई तमाम विपक्षी दलों ने भी किया है। कानून के देशव्यापी विरोध के बीच बीजेपी ने पूर्व पीएम मनमोहन सिंह का पुराना वीडियो शेयर किया है जिसमें वह इस कानून के पक्ष में अपनी बात रखते हुए दिख रहे हैं। इस वीडियो में मनमोहन सिंह बांग्लादेश में धार्मिक आधार पर हिंसा के शिकार हुए शरणार्थियों के लिए सरकार को सहानुभूतिपूर्ण रवैया रखने का सुझाव दे रहे हैं।

वीडियो में मनमोहन सिंह तत्कालीन गृहमंत्री और उप प्रधानमंत्री लाल कृष्ण आडवाणी से कहते हुए दिखे रहे हैं कि, ‘मैं शरणार्थियों के संकट को आपके सामने रखना चाहता हूं। बंटवारे के बाद हमारे पड़ोसी देश बांग्लादेश में धार्मिक आधार पर नागरिकों का उत्पीड़न किया गया। अगर ये प्रताड़ित लोग हमारे देश में शरण के लिए पहुंचते हैं तो इन्हें शरण देना हमारा नैतिक दायित्व है। इन लोगों को शरण देने के लिए हमारा व्यवहार उदारपूर्ण होना चाहिए। मैं गंभीरता से नागरिकता संशोधन विधेयक की ओर डेप्युटी पीएम का ध्यान इस ओर दिलाना चाहता हूं।’

मनमोहन सिंह का यह भाषण साल 2003 का है। उस वक्त केंद्र में अटल बिहारी वाजपेयी के नेतृत्व वाली एनडीए की सरकार थी। तब राज्यसभा सदस्य मनमोहन सिंह सदन में नेता विपक्ष थे। बीजेपी ने इस वीडियो को अपने ट्विटर हैंडल से शेयर किया है। वीडियो को पिन टू टॉप भी किया गया है।

 

वीडियो पर तमाम लोग अपनी प्रतिक्रियाएं दे रहे हैं। कुछ इस वीडियो पर बीजेपी से ही सवाल पूछ रहे हैं कि लेकिन उन्होंने एनआरसी के बारे में तो नहीं कहा था। कुछ ने लिखा कि चाय तो तरोताजा करती है लेकिन उसमें आपने जहर मिला दिया है।

 

वहीं कुछ यूजर्स ऐसे भी हैं जो इस वीडियो पर कांग्रेस पर निशाना साध रहे हैं।