कई लोगों की किस्मत काफी तेज मानी जाती है। ज्योतिष अनुसार किसी भी काम में सफलता के लिए जितनी आपकी मेहनत का हाथ होता है उतना ही ग्रह नक्षत्रों और किस्मत का भी योगदान माना जाता है। हस्तरेखा शास्त्र की मानें तो हाथ की भाग्य रेखा आपकी किस्मत और धन की स्थिति के बारे में बताती है। लेकिन ये जरूरी नहीं कि हर किसी की हथेली में ये रेखा हो। जानिए क्या कहती है आपकी भाग्य रेखा…
हर किसी के हाथ में नहीं होती भाग्य रेखा: अमूमन कई लोगों के हाथों में ये रेखा नहीं होती है। लेकिन ऐसा नहीं कि इस रेखा के न होने से कुछ बुरा होता है। बस किसी भी काम में सफलता पाने के लिए प्रयास अधिक करने पड़ते हैं। अगर हाथ में भाग्य रेखा नहीं है लेकिन अन्य रेखाएं या ग्रह मजबूत स्थिति में हैं तो भी किस्मत अच्छी मानी जाती है। ऐसे लोगों के पास भी धन-धान्य की कमी नहीं रहती।
हाथ में भाग्य रेखा का होना: हाथ में भाग्य रेखा का होना शुभ माना जाता है। ये रेखा कलाई के बीच में से शुरू होकर ऊपर की तरफ सीधी जाती है। मध्यमा और अनामिका ऊंगली के बीच में आकर ये रेखा खत्म हो जाती है। कहा जाता है कि हाथ में भाग्य रेखा यदि सीधी, गहरी, स्पष्ट और बिना टूटी दिखाई दे तो इसका मतलब आपको अपनी किस्मत से सबकुछ मिलेगा। ऐसे लोगों का करियर काफी अच्छा रहता है। थोड़ी मेहनत में ही किसी भी कार्य में आसानी से सफलता मिल जाती है।
भाग्य रेखा की शुभ स्थिति: यदि भाग्य रेखा कलाई से शुरू होकर तर्जनी उंगली की तरफ मुड़ जाए तो इसका मतलब व्यक्ति को समाज में मान-प्रतिष्ठा प्राप्त होगी। सरकारी नौकरी मिलने की भी उम्मीद रहेगी। ऐसा व्यक्ति काफी दानी भी होता है। हथेली के बीच में मस्तिष्क रेखा से निकलकर कोई रेखा शनि पर्वत तक पहुंचती है तो इसका मतलब ऐसा व्यक्ति अपने परिश्रम से सबकुछ हासिल कर सकता है। हथेली में भाग्य रेखा अच्छी हो और शनि ग्रह भी मजबूत हो तो ऐसे व्यक्ति के पास धन धान्य की कभी कमी नहीं रहती।
भाग्य रेखा की अशुभ स्थिति: यदि भाग्य रेखा शनि पर्वत को पार कर मध्यमा उंगली के पोर पर चढ़ जाए तो इसका मतलब लाख प्रयासों के बाद भी आपको असफलता मिलने के ज्यादा आसार रहते हैं। यदि भाग्य रेखा कटी फटी हो या कोई अन्य रेखा उसे बीच में से काट दे तो ऐसा व्यक्ति जीवनभर परेशान रहता है।