Shani ke Upay: सौरमंडल के नव ग्रहों में से एक है शनि जिनके बारे में कहा जाता है कि शनिदेव मनुष्य को उसके पाप और बुरे कार्यों आदि का दंड प्रदान करते हैं। न्यायप्रिय शनि महाराज का प्रभाव कुंडली पर भी होता है। ज्योतिष शास्त्र के मुताबिक हर व्यक्ति के जीवन में ग्रहों का विशेष प्रभाव पड़ता है। अगर आपकी कुंडली में ग्रह दोष है या फिर मुख्य ग्रह निचले स्थान पर है तो जीवन में कई कठिनाइयों का सामना करना पड़ सकता है। कुंडली के बारहों भाव में से जिसमें भी शनि खराब होता है तो जानें कौन से उपाय लाभकारी होंगे।

जानकारों के अनुसार जिनकी कुंडली के पहले भाव में शनि खराब स्थिति में हो उन्हें लोहे का सामान, पलंग, छाता आदि का दान कर सकते हैं। इसके अलावा, अपनी परछाई में देखकर सरसो का तेल दान करने से लाभ होने की मान्यता है। इसके अलावा, हर शनिवार को भैरव बाबा के मंदिर जाएं।

विद्वान बताते हैं कि अपने जीवनसाथी के साथ हर सोमवार को भगवान शिव का अभिषेक करने से मान्यता है कि कुंडली के दूसरे भाव में शनि की खराब दशा बेहतर हो सकती है। इसके अलावा, शनिवार को सरसो का तेल सिर में नहीं लगाएं। संभव हो तो गाय के दूध में चंदन घिसकर रोज माथे पर तिलक लगाना चाहिए।

वहीं, मान्यता है काले रंग के कुत्ते को पालकर उसकी सेवा करने से कुंडली के तीसरे स्थान पर शनि मजबूत होते हैं। नेत्र रोगियों की सेवा करें, हो सके तो उन्हें मुफ्त दवाइयां बांटें।

ज्योतिषाचार्य बताते हैं कि कुंडली के चौथे स्थान पर शनि की खराब दशा को बेहतर करने के लिए कौवों को रोटी खिलाएं।

पांचवें स्थान पर खराब शनि को ठीक करने के उपायों में कई चीजें शामिल की जाती हैं। 43 दिनों तक लगातार काले पत्थर के शिवलिंग का अभिषेक करें। इसके अलावा, तेल से भरपूर रोटी काले कुत्ते को हर शनिवार को खिलाएं। गरीबों को नमकीन चावल बनाकर दान करें।

विद्वानों का मानना है कि काली गाय की सेवा करने, उन्हें हरी घास खिलाने, लोहे की चीजों का दान करने और बहते पानी में बादाम बहाने से छठे स्थान पर शनि महाराज मजबूत होते हैं।

कुंडली के सातवें भाव में खराब शनि की दशा को बेहतर करने के लिए रोज घर को साफ रखें, तामसिक चीजों के सेवन से बचें। जबकि चांद का चौकोर टुकड़ा अपने पास रखने से आंठवें स्थान पर शनि की स्थिति ठीक होती है।

नौवें और दसवें स्थान पर शनि की स्थिति को ठीक करने के लिए क्रमशः शनिवार को बबूल के पेड़ की दातुन करें और शनिवार को शनिदेव को नीले पुष्प अर्पित करें।

ज्योतिषाचार्यों के अनुसार संतरे खाकर उसके छिलकों से दांतों को साफ करने से कुंडली के 11वें भाव में खराब शनि ठीक हो सकता है। वहीं, जिन लोगों की जन्म कुंडली में शनि बारहवें स्थान पर होता है, उन्हें काले कपड़े में 12 बादाम को बांधकर लोहे के बर्तन में रखें और किसी अंधेरी जगह में दबा दें।