Diwali 2022 Stories: वैदिक पंचांग के अनुसार दिवाली का त्योहार हर साल कार्तिक मास की अमावस्या तिथि को मनाया जाता है। जो इस साल 24 नवंबर सोमवार को मनाया जा रहा है। दिवाली के दिन देवी लक्ष्मी, सरस्वती और गणेश जी की जाती है। इस दिन पूजा करने से और माता लक्ष्मी की आराधना करने से भक्तों को विशेष लाभ मिलता है। साथ ही दिन दीये जलाए जाते हैं। लेकिन क्या आपको पता है कि दिवाली का त्योहार क्यों मनाया जाता है। नहीं तो आइए जानते हैं दिवाली का त्योहार क्यों मनाया जाता है। 

भगवान राम की अयोध्या वापसी

रामायण के अनुसार आज के दिन ही 14 वर्ष का वनवास काटकर भगवान राम पत्नी सीता और भाई लक्ष्मण के साथ अयोध्या वापस लौटे थे। जिस खुशी में अयोध्या वासियों ने दीपक जलाए थे। तब से ही दिवाली का पर्व मनाया जाने लगा।

पांडवों से जुड़ी कथा

महाभारत ग्रंथ के अनुसार कार्तिक मास की अमावस्या तिथि को पांडव 13 वर्षों का वनवास पूरा कर अपने घर लौटे थे। जिसके बाद पांडव घर लौटे और इसी खुशी में पूरी नगरी को जगमग किया गया। मान्यता है कि तब से ही दिवाली पर्व मनाया जाता है।

मां लक्ष्मी का हुआ अवतार

विष्णु पुराण के अनुसार देवता और असुरों ने समुद्र मंथन किया था। तब समुद्र मंथन से 14 रत्नों की उत्पत्ति हुई थी जिनमें से एक माता लक्ष्मी भी थीं। साथ ही उस दिन कार्तिक मास की अमावस्या तिथि थी। मान्यता है तब से ही दिवाली का त्योहार मनाया जाता है। क्योंकि माता लक्ष्मी को धन और समृद्धि की देवी माना जाता है और इस दिन मां लक्ष्मी की पूजा करने से सुख-समृद्धि, धन, यश और वैभव सभी की प्राप्ति होती है।

मां काली ने लिया रौद्र रूप

शास्त्रों के अनुसार मां दुर्गा ने राक्षसों के संहार के मां काली का रूप लिया था। साथ ही उनका क्रोध शांत नहीं हो रहा था, जिससे देवता भी कांप गए और फिर सभी देवता गण भगवान शंकर के पास गए। जिससे बाद भोलेनाथ स्वंय मांं काली के तब भगवान शिव के स्पर्श से उनका क्रोध शांत हुआ था। इसलिए ही दिवाली की रात मां काली के रौद्र रूप की भी पूजा की जाती है।

करें ये उपाय

  • दिवाली पर घर के पूजा स्थल पर शुभ मुहूर्त में सिद्ध श्री यंत्र और महालक्ष्मी यंत्र स्थापित करें।
  • दिवाली पर के दिन लक्ष्मी पूजन में 11 कौड़ियों को रखें और फिर बाद में लाल कपड़े में बांधकर उनको मेन गेट पर लटका दें।
  • लक्ष्मी पूजन के दौरान 5 पीली कौड़ी और 9 गोमती चक्र मां लक्ष्मी के चरणों के पास अर्पित करके, अगले दिन धन स्थान पर रख दें।
  • पांच हल्दी की गांठे लेकर दिवाली के दिन पूजन के समय मां लक्ष्मी को अर्पित करें और फिर एक अगले दिन उन गांठों को लाल कपड़े में बांधकर धन स्थान पर रख दें। ऐसा करने से मां लक्ष्मी का आशीर्वाद प्राप्त होगा।