पश्चिम बंगाल में पंचायत चुनाव से पहले हिंसक घटनाएं रुकने का नाम नहीं ले रही हैं। नाम वापस न लेने पर भाजपा की एक गर्भवती महिला प्रत्याशी के साथ गैंगरेप का सनसनीखेज मामला सामने आया है। मुख्यमंत्री ममता बनर्जी की पार्टी तृणमूल कांग्रेस के स्थानीय नेताओं पर दुष्कर्म का आरोप लगाया गया है। पीड़िता के परिजनों ने बताया कि वह भाजपा के टिकट पर पंचायत चुनाव लड़ रही हैं। तृणमूल के नेताओं ने नाम वापस लेने का आदेश दिया था, लेकिन उन्होंने पर्चा वापस लेने से इनकार कर दिया था। आरोप है कि इसके बाद तृणमूल से जुड़े हमलावरों ने रविवार (29 अप्रैल) को आधी रात के बाद तकरीबन 2 बजे भाजपा की महिला प्रत्याशी के घर पर धावा बोल दिया और उनके साथ सामूहिक दुष्कर्म किया। स्थानीय पुलिस ने बलात्कार, धमकी और डकैती की धाराओं के तहत मामला दर्ज कर लिया है। ‘एनडीटीवी’ के अनुसार, तकरीबन आधा दर्जन लोगों को आरोपी बनाया गया है। इस मामले में एक व्यक्ति को गिरफ्तार कर लिया गया है। पीड़िता का फिलहाल कोलकाता के एक अस्पताल में इलाज चल रहा है।
जानकारी के मुताबिक, भाजपा की महिला प्रत्याशी के साथ सामूहिक बलात्कार की यह घटना पश्चिम बंगाल की राजधानी कोलकाता से तकरीबन 100 किलोमीटर दूर नादिया जिले की है। घटना के वक्त घर में केवल पीड़िता का तीन साल का बेटा और सास मौजूद थीं। अचानक से तकरीबन 30 लोगों ने देर रात धावा बोल दिया और घर में जबरन घुस गए थे। तोड़फोड़ के बाद चार से पांच की संख्या में हमलावर पीड़िता के कमरे में घुस गए और बलात्कार किया। बताया जाता है कि तृणमूल के नेताओं और कार्यकर्ताओं के आतंक के कारण पीड़िता के घर के अन्य सदस्य कहीं और चले गए थे।
भाजपा सांसद ने राज्यपाल से की शिकायत: भाजपा सांसद बाबुल सुप्रियो ने पश्चिम बंगाल के राज्यपाल केशरीनाथ त्रिपाठी से घटना की शिकायत की है। वहीं, भाजपा की पश्चिम बंगाल महिला प्रमुख लॉकेट चटर्जी ने कोलकाता में अस्पताल के बाहर विरोध प्रदर्शन किया है। उन्होंने आरोपियों पर शीर्घ कार्रवाई की मांग की है। वहीं, तृणमूल कांग्रेस ने आरोपों को खारिज किया है। तृणमूल नेता अरिंदम भट्टाचार्य ने कहा, ‘इस घटना में किसी तरह का राजनीतिक जुड़ाव नहीं है। यह पति और पत्नी के बीच का पारिवारिक मसला है, जिसे राजनीतिक रंग देने की कोशिश की जा रही है।’