पश्चिम बंगाल में इसी साल विधानसभा चुनाव होने हैं। इस बीच ममता बनर्जी की पार्टी तृणमूल कांग्रेस (TMC) को झटके पर झटके लग रहे हैं। राज्य की अहम विधानसभा सीटों में से एक डायमंड हार्बर से 2 बार विधायक रह चुके दीपक हल्दर ने अब पार्टी का साथ छोड़ दिया है। दीपक हल्दर ने सोमवार को पार्टी से इस्तीफा दे दिया और अब इस बात की भी अटकलें हैं कि वो जल्दी ही भारतीय जनता पार्टी में शामिल हो सकते हैं।
दीपक हल्दर ने मीडिया से बातचीत में कहा कि ‘मैं दो बार विधायक रह चुका हूं। लेकिन साल 2017 से मुझे लोगों के साथ मिलकर काम करने की इजाजत नहीं दी जा रही है। पार्टी नेतृत्व को सूचना देने के बाद इस हालात में कोई बदलाव नहीं हुए। मुझे किसी पार्टी कार्यक्रम के बारे में सूचना नहीं दी जाती है। मैं अपने विधानसभा की जनता और समर्थकों के प्रति जवाबदेह हूं। इसलिए मैंने पार्टी छोड़ने का फैसला किया है। मैं जल्दी ही अपना त्याग पत्र जिला और प्रदेश अध्यक्ष को भेज दूंगा।’
दीपक हल्दर के बारे में बताया जा रहा है कि पिछले कुछ महीनों से वो पार्टी नेतृत्व के खिलाफ खुलकर बोल रहे हैं। उनके बारे में यह भी कहा जा रहा है कि वो बीजेपी के नेता सोवन चटर्जी के करीबियों में भी शामिल हैं और हाल ही में उन्होंने साऊथ कोलकाता में बीजेपी नेता के घर पर जाकर उनसे मुलाकात भी की थी। साल 2015 में हल्दर को पार्टी ने एक बार सस्पेंड भी किया था तब उनपर मारपीट में शामिल रहने का आरोप लगा था। बाद में बेल पर रिहा होने के बाद उन्होंने दोबारा पार्टी ज्वायन की थी।
यहां आपको बता दें कि इससे पहले बाली से टीएमसी के विधायक राजीव बनर्जी, हावड़ा से पार्टी के विधायक बैशाली डालमिया और उत्तरपारा से टीएमसी विधायक प्रबीर घोषाल सार्वजनिक तौर पर पार्टी के खिलाफ आवाज उठा चुके हैं। पार्टी के कुछ नेताओं ने अपने पद से इस्तीफा दे दिया है तो कुछ नेताओं को सस्पेंड भी कर दिया गया है।

