यूपी में बाहुबली मुख्तार अंसारी की मुश्किलें खत्म होती नहीं दिख रही हैं। अब उनपर 31 साल पुराने अवधेश राय हत्याकांड में केस डायरी गायब कराने के आरोप में मामला दर्ज किया गया है। बता दें कि यह मुकदमा वाराणसी के कैंट थाने में दर्ज कराया गया है। इस डायरी में केस से जुड़ी रोजाना हो रही जांच का रिकॉर्ड दर्ज है।
मुख्तार अंसारी के खिलाफ चौकी प्रभारी की तहरीर पर कैंट थाने में आईपीसी की धारा 409 व 120 बी के तहत मुकदमा दर्ज किया गया है। इस मामले में पुलिस विवेचना कर रही है। कैंट पुलिस निरीक्षक प्रभु कांत ने कहा कि अदालत के कर्मचारियों की मिलीभगत से मूल केस डायरी को गायब कराने की साजिश रचने के आरोप में बुधवार को प्राथमिकी दर्ज की गयी। वहीं मुख्तार अंसारी पर मुकदमा दर्ज की खबर से उसके खेमे में खलबली मची हुई है।
केस डायरी के गायब होने की जानकारी जून 2022 को सुनवाई के दौरान पता चली। मुख्तार अंसारी की तरफ से पेश हुए वकील ने अपनी दलीलों में कहा कि मामले की मूल केस डायरी गायब है। इसलिए इस केस के ट्रायल को रोका जाए। बता दें कि बाहुबली पूर्व विधायक मुख्तार अंसारी वर्ष 2005 से बीजेपी विधायक कृष्णानंद राय की हत्या के आरोप में बांदा जेल में बंद हैं।
अवधेश हत्याकांड:
अवधेश राय को 31 साल पहले 3 अगस्त 1991 को वाराणसी के लहुराबीर में उनके घर के सामने गोली मारकर हत्या की गई थी। इस हत्या का आरोप मुख्तार अंसारी पर था। इसको लेकर माफिया अंसारी पर मुकदमा दर्ज हुआ था। अवधेश राय पूर्व विधायक व कांग्रेस नेता अजय राय के बड़े भाई थे। जिस दौरान उनकी हत्या की गई, उस वक्त वो अपने घर के बाहर निकल रहे थे। तभी हत्यारों ने उनपर ताबड़तोड़ गोलियां बरसा दीं।
इस हत्या के मामले में अजय राय ने मुख्तार अंसारी, पूर्व विधायक अब्दुल कलाम, कमलेश सिंह, भीम सिंह और राकेश न्यायिक समेत अन्य के खिलाफ चेतगंज थाने में केस दर्ज कराया था।
बता दें कि इस केस में वाराणसी की अदालत में सुनवाई चल रही है। लेकिन सुनवाई के दौरान ही इस मामले में अहम केस डायरी ही गायब हो गई है। कोर्ट से मूल केस डायरी गायब होने के बाद फोटोस्टेट पत्रावली पर ही मामले की सुनवाई चल रही है।