“एक बार कुछ ऋषि-मुनी रावण की लंका देखने के लिए गए। रावण ने लंका दिखाते हुए अपने सोने और अस्त्रों के भंडार दिखाए, लेकिन चरित्र निर्माणशाला नहीं बनाई। एक ऋषि ने कहा- हे रावण! तुझे बताकर जाना चाहता हूं कि तेरी लंका में चरित्र निर्माणशाला नहीं है, इसलिए तेरी लंका एक दिन जलकर खाक हो जाएगी।” विधानसभा में यह कहानी सुनाते हुए समाजवादी पार्टी के भगवाधारी विधायक ने योगी सरकार पर निशाना साधा। उन्होंने कहा कि इस सरकार में चरित्र निर्माणशाला का कोई अध्याय नहीं जोड़ा गया है, इसलिए एक दिन ये सरकार भी अपने आप ही गिर जाएगी।
उन्होंने किसानों के मुद्दे पर भी योगी सरकार को घेरा और कहा कि किसान राजाओं का राजा है, लेकिन इस सरकार में दूसरों का पेट भरने वाले किसान का बेटा भूखा सोता है।
उन्होंने कहा, “भारत एक कृषि प्रधान देश है। समाज के संस्थापक दयानंद सरस्वती ने किसान को राजाओं का राजा बताया है। हम सब अन्नदाता कहते हैं। पूर्व प्रधानमंत्री चौधरी चरण सिंह ने किसानों को लेकर बहुत अच्छी-अच्छी बातें कही थीं, लेकिन आज अन्नदाता किसान का बेटा, जो धरती मां का सीना चीरकर अन्न पैदा करता है। वह इसके बाद भी अपने परिवार का पालन-पोषण नहीं कर पाता है।”
उन्होंने कहा कि दिनभर मेहनत करने के बाद भी किसान की रात चिंता और परेशानी में गुजरती है। किसान को अपनी बेटी की शादी, बिजली के बिलों, बच्चों की फीस की फिक्र है और इन चिंताओं की वजह से उसे नींद नहीं आती है। उन्होंने कहा कि जिस देश और प्रदेश में किसान लोगों का पेट भरने का काम करता हो और उसका बेटा भूखा सोता हो, तो नौजवानों के दिल और दिमाग में ऐसी सरकार को बदलने के लिए आवेश होना चाहिए।
उन्होंने सदन में कहा कि 100 नंबर की गाड़ी, 102 और 108 नंबर की गाड़ी चलाकर अखिलेश यादव ने यह साबित कर दिया था कि वह 36 बिरादरी के नेता हैं। वहीं, बीजेपी के नेता पानी पी-पी कर अखिलेश यादव की बुराई करते हैं, लेकिन उन्होंने जो काम करके दिखाया, वह न तो आज तक किसी ने किया है और ना ही कर सकेगा।
बता दें कि स्वामी ओमवेश यूपी की चांदपुर विधानसभा सीट से समाजवादी पार्टी के विधायक हैं। उन्होंने इसी साल चुनावों में इस सीट पर बीजेपी प्रत्याशी को हराकर जीत हासिल की थी।