लुलु मॉल उद्घाटन के बाद से ही विवादों में घिरा हुआ है। दरअसल उद्घाटन के कुछ दिन बाद लुलु मॉल में कुछ युवकों द्वारा नमाज पढ़ी गई और फिर इसके बाद विवाद शुरू हो गया। इस घटना के बाद हिन्दू संगठनों ने लुलु मॉल के खिलाफ प्रदर्शन किया। वहीं 2 युवकों ने लुलु मॉल के अंदर हनुमान चालीसा का पाठ भी किया। लेकिन अब इस विवाद में नया मोड़ आ गया है।
दरअसल मॉल के सीसीटीवी से खुलासा हुआ है कि मॉल के अन्दर नमाज महज 18 सेकंड में पढ़ी गई और नमाज पढ़ने की दिशा भी गलत थी। पहले युवकों ने मॉल के पहले फ्लोर पर नमाज पढ़ने की कोशिश की लेकिन उसमे असफल होने के बाद युवक मॉल के दूसरे फ्लोर पर चले गए और फिर मौका देखते ही वहां पर नमाज पढ़ना शुरू कर दिया। नमाज पढ़ने के दौरान का वीडियो भी वायरल कर दिया गया। रिपोर्ट्स की माने तो लुलु मॉल में नमाज सिर्फ 18 सेकंड में पढ़ी गई, जबकि आमतौर पर नमाज पढ़ने में कम से कम 5 मिनट लगता है।
वहीं नमाज विवाद पर मौलाना सुफियान निजामी ने बड़ा बयान दिया है। उन्होंने यूट्यूब चैनल यूपी तक से बात करते हुए कहा, “नमाज की बुनियादी शर्त है कि नमाज पढ़ने वाला काबा की तरफ रुख करके नमाज पढ़े। हिंदुस्तान में रहने वाला व्यक्ति पश्चिम की तरफ रुख करके नमाज अदा करेगा क्योंकि काबा का रुख उधर ही है, जहां दुनिया भर के मुस्लिम नमाज पढ़ते हैं। इसके अलावा अगर कोई किसी अन्य दिशा में बैठकर नमाज अदा करता है तो वह गलत है।”
मौलाना सुफियान निजामी ने आगे कहा, “अगर कोई अच्छे से नमाज पढ़ता है तो उसे कम से कम 5 मिनट लगता है और अगर बहुत तेजी से नमाज पढ़ेगा तो भी 4 मिनट लगेगा। इससे कम समय में अगर नमाज पढ़ी जाती है तो उसे इस्लाम में चोरी कहा गया है। 18 सेकंड में नमाज अदा करने का तरीका मुनासिब नहीं है और न ही यह शरियत के अनुसार है। जहां तक देखने को मिल रहा है, यह साजिश के तहत किया गया है। यह लोग गलत दिशा में बैठे थें।”
बता दें कि लखनऊ पुलिस नमाज पढ़ने वाले लड़कों को खोज रही है, लेकिन लड़के फरार हैं। युवक सिर्फ नमाज पढ़ने के दौरान वीडियो बनाने के मकसद से आये थे और नमाज पढ़ने के बाद लड़कों ने वीडियो वायरल कर दिया।