समाजवादी पार्टी के सुप्रीमो मुलायम सिंह यादव यूपी के सीएम अखिलेश यादव की सार्वजनिक रूप से आलोचना करते आए हैं। शनिवार को अखिलेश और शिवपाल के बीच सुलह के लिए अखिलेश की ताकत बढ़ाते हुए (आगामी विधानसभा चुनाव में प्रत्याशियों के चयन में उनकी राय को तरजीह दिया जाना) भाई शिवपाल के प्रति नरम रुख दिखाया। साथ ही उन्होंने बेटे अखिलेश यादव पर तीखा हमला भी बोला।

मुलायम ने कहा कि 2012 विधानसभा चुनाव के बाद शिवपाल सिंह ने अखिलेश यादव को मुख्यमंत्री बनाए जाने का विरोध किया था और सुझाव दिया था कि उन्हें (अखिलेश) 2014 लोकसभा चुनाव के बाद आगे लाना चाहिए। लेकिन, सभी लोग अखिलेश के नाम पर राजी थे और अखिलेश मुख्यमंत्री बन गए। उन्होंने आगे कहा- क्या हुआ अखिलेश सीएम बन गए तो? परिवार से केवल पांच लोग जीते। अगर मैंने शिवपाल सिंह यादव की बात सुनी होती तो हम 30-35 सीटें जीतते और मैं प्रधानमंत्री बन गया होता।

टीओआई के मुताबिक मुलायम ने कहा कि अगर अखिलेश इस बात को लेकर शिवपाल से खफा हैं तो उन्हें एक बाद याद रखनी चाहिए कि लोगों ने उन्हें इसलिए सीएम के रूप में स्वीकार किया है, क्योंकि वह मेरे बेटे हैं। उन्होंने कहा कि अखिलेश यादव 2012 चुनाव में उस मेनिफेस्टो की वजह से सत्ता में आए, जिसे मैंने, शिवपाल और रामगोपाल यादव के साथ मिलकर तैयार किया। अखिलेश यादव के ड्रीम मेट्रो प्रोजेक्ट को गैरजरुरी बताते हुए मुलायम ने कहा कि मेट्रो प्रोजेक्ट के लिए आवंटित किए गए धन का इस्तेमाल किसानों के कल्याण के लिए किया जा सकता था। उन्होंने कहा कि शिवपाल सिंह यादव ने पार्टी के लिए बहुत मेहनत की है।

अमर सिंह के सवाल पर चुप्पी साधने वाले मुलायम सिंह ने कहा, आप जानते हैं अमर सिंह कौन हैं? अमर सिंह वो शख्स है जो मेरे साथ सीबीआई जांच शुरू होने के बाद खड़ा हुआ, उस समय सब ने मेरा साथ छोड़ दिया। मुलायम के इस बयान के बाद अमर सिंह के खिलाफ कार्रवाई को लेकर निकट भविष्य में किसी तरह की संभावना नजर नहीं आ रही है।