लखनऊ में पासपोर्ट सेवा केन्द्र के अधिकारी द्वारा हिन्दू—मुस्लिम दंपती को कथित रूप से प्रताड़ित किये जाने के मामले ने सियासी रंग ले लिया है। इस मुद्दे पर ऑल इंडिया मजलिस ए इत्तेहादुल मुस्लमीन के अध्यक्ष असदुद्दीन ओवैसी ने बीजेपी पर जोरदार हमला बोला है। ओवैसी ने कहा है कि बीजेपी सत्ता में आने के बाद लगातार मुसलमानों के प्रति नफरत और जहर फैला रही है, हालात यहां तक आ गये हैं कि अब दो व्यस्कों की शादी पर सरकारी अधिकारी सवाल उठाने लगे हैं। असदुद्दीन ओवैसी ने समाचार एजेंसी एएनआई से कहा, “जब से बीजेपी सत्ता में आई है उन्होंने मुसलमानों और दलितों के खिलाफ नफरत और साम्प्रदायिक जहर फैलाया है। अब चीजें इस हालात तक आ गई है कि सरकारी अधिकारियों को ये हिम्मत हो गई है कि वे दो व्यस्कों की शादी पर सवाल खड़ा कर रहे हैं।”
Since BJP came to power they’ve spread hatred&communal poison against minorities,Muslims in particular&Dalits.Things have come to such stage that govt officer has audacity to question an adult’s marriage:A Owaisi on inter-faith couple allegedly harassed at Lucknow passport office pic.twitter.com/DzORbENB6m
— ANI (@ANI) June 21, 2018
बता दें कि मोहम्मद अनस और उनकी पत्नी तनवी सेठ का कहना है कि वे कल (20 जून) पासपोर्ट का नवीनीकरण कराने के लिए पासपोर्ट कार्यालय गये थे। दंपती का आरोप है कि पासपोर्ट अधिकारी विकास मिश्रा ने अनस से कहा कि वह हिन्दू धर्म अपना लें। साथ ही उन्होंने तनवी से सभी दस्तावेजों में अपना नाम बदलने का निर्देश दिया। उन्होंने आरोप लगाया कि जब दोनों ने ऐसा करने से इन्कार कर दिया तो अधिकारी उन पर चिल्लाने लगा। घटना के बाद दंपती घर लौट आए और विदेश मंत्री सुषमा स्वराज को ट्वीट कर पूरे घटनाक्रम की जानकारी दी।
अनस और तनवी ने 2007 में शादी की थी। उनकी छह साल की एक बेटी भी है और दोनों नोएडा की एक निजी कंपनी में काम करते हैं। अनस ने बताया कि तनवी और उन्होंने 19 जून को पासपोर्ट के लिए आवेदन किया था और लखनऊ में पासपोर्ट सेवा केंद्र में उन्हें बुधवार को बुलाया गया था।अनस ने दावा किया कि विकास मिश्रा ने उन्हें बुलाया और उनका अपमान करना शुरू कर दिया। उनसे कहा कि वह हिन्दू धर्म अपना लें वरना विवाह स्वीकार नहीं किया जाएगा। मिश्रा ने उनसे कहा कि उन्हें हिन्दू रीति-रिवाज से शादी करनी होगी।
Asked Tanvi Seth to get the name’Shadia Anas’endorsed as it was mentioned on her Nikahnama,but she refused.We have to do thorough checks to ensure no person is changing their name to obtain a passport:Vikas Mishra,officer who allegedly harassed Tanvi Seth at Lucknow passport Off. pic.twitter.com/biQkBcghrJ
— ANI UP (@ANINewsUP) June 21, 2018
जब ये मामला सुर्खियों में आया तो पासपोर्ट सेवा केन्द्र पर अधिकारी द्वारा हिन्दू-मुस्लिम दंपती को 21 जून को पासपोर्ट जारी कर दिया गया। इस बीच विकास मिश्रा नाम के जिस अधिकारी पर बदसलूकी का आरोप लगा है उन्होंने कहा कि उन्हें धर्म से कोई मतलब नहीं है अधिकारी को पासपोर्ट मैनुअल के मुताबिक फैसला लेना होता है और हर कॉलम में प्रार्थी द्वारा दी गई सूचनाओं की पुष्टि करनी पड़ती है। इसके तहत आवेदक को अपना नाम स्पष्ट करना चाहिए था, क्योंकि वहां पर उसका पुराना नाम लिखा हुआ था। उन्होंने कहा कि जो हो रहा है वो गलत है।