केंद्रीय मंत्री और बीजेपी नेता पीयूष गोयल को मंगलवार को एक अजीबोगरीब स्थिति का सामना करना पड़ा। दरअसल, गोयल लोकसभा चुनावों के मद्देनजर वाराणसी में तैयार किए गए पार्टी के नए मीडिया सेंटर में प्रेस कॉन्फ्रेंस को संबोधित कर रहे थे। इंडियन एक्सप्रेस अखबार में छपे कॉलम डेल्ही कॉन्फिडेंशियल के मुताबिक, गोयल पीएम नरेंद्र मोदी के संसदीय क्षेत्र में हुए विकास कार्यों के बारे में बता रहे थे। वह इंटिग्रेट पावर डेवलपमेंट स्कीम के तहत अंडरग्राउंड केबल डालने के प्रोजेक्ट की जानकारी दे रही थे कि तभी प्रेस रूम की पावर सप्लाई बंद हो गई। 5 मिनट बाद जनरेटर चलाकर दोबारा से बिजली की सप्लाई बहाल की गई।
बिजली पर मीडिया द्वारा पूछे गए सवालों पर जवाब देते हुए गोयल ने कहा कि यूपी में बिजली पर्याप्त है, लेकिन गर्मियों में बढ़ती डिमांड की वजह से कभी-कभी समस्या हो जाती है। पीयूष गोयल ऊर्जा के अलावा रेलवे मंत्रालय का भी कार्यभार देखते हैं। रेलवे मंत्रालय का ट्रेन 18 वंदे भारत एक्सप्रेस प्रोजेक्ट बेहद कामयाब साबित हुआ है। हालांकि, ट्रेन 18 के दूसरे रैक के लिए इंतजार अब और लंबा हो सकता है। पहले इनकी डिलिवरी अप्रैल में होनी थी। जानकारी के मुताबिक, ये रैक अभी चेन्नई स्थित इंटिग्रेट कोच फैक्ट्री से बनकर निकलने वाले हैं। इससे पहले, रेलवे बोर्ड के शीर्ष अधिकारियों ने निर्माताओं से कहा है कि कोच तैयार करने से पहले इससे जुड़ी दिक्कतों को दूर कर दिया जाए। इसकी वजह से ही देरी हुई है।
ब्यूरोक्रेसी का एक तबका इस निर्देश को मैकेनिकल और इंजीनियरिंग विभाग के बीच कथित टकराव को वजह मानता है। बता दें कि ट्रेन 18 एक सेमी हाई स्पीड ट्रेन है जो पटरियों पर करीब 130 किमी प्रति घंटे की रफ्तार से भागती है।