भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) को गुरुवार (15 मार्च) को देश के एक पूर्वोत्तर राज्य से फिर से खुशखबरी मिली है। त्रिपुरा में भाजपा की ओर से उम्मीदवार और उपमुख्यमंत्री जिष्णु देब बर्मन ने चारिलम विधानसभा सीट पर जीत हासिल की है। आपको बता दें कि माकपा के उम्मीदवार की चुनाव प्रचार के दौरान मौत हो गई थी, जिसकी वजह से इस सीट पर 18 फरवरी को चुनाव नहीं हुए थे। बर्मन आदिवासी समुदाय से आते हैं। वह भाजपा के जनजाति मोर्चा के अध्यक्ष भी हैं। उन्होंने उपमुख्यमंत्री के नाते हाल ही में शपथ ली थी। चारिलम विधानसभा में 11 फरवरी को माकपा के उम्मीदवार राम नारायण देब्बाराम का निधन हो गया था। उन्हें दिल का दौरा पड़ा था। चारिलम में 18 फरवरी को मतदान न होने की यही प्रमुख वजह थी। ऐसे में इस सीट पर 12 मार्च को चुनाव कराया गया था। देब्बाराम के गुजरने के बाद इस सीट पर माकपा ने अपना कोई भी प्रत्याशी नहीं पेश किया था।
त्रिपुरा में हाल ही में विधानसभा चुनाव हुए थे। 60 सीटों पर हुए चुनाव में भाजपा के खाते में 35 सीटें आई थीं, जबकि सहयोगी दल आईपीएफटी को आठ सीटें मिली थीं। चारिलम सीट पर जीत ने भाजपा की सीटों में एक अंक और बढ़ा दिया है। यानी अब त्रिपुरा में भाजपा की झोली में कुल 36 सीटें हो चुकी हैं। गठबंधन के लिहाज से देखें तो कुल 44 सीटें एनडीए के पास हैं, जबकि बाकी की 16 सीटों पर माकपा काबिज है। त्रिपुरा में इससे पहले तक 25 सालों से माकपा सत्ता में थी।
हालांकि, बिहार और उत्तर प्रदेश में हुए उपचुनावों में भाजपा को हार का सामना करना पड़ा। यूपी में समाजवादी पार्टी (सपा) और बिहार में राष्ट्रीय जनता दल (आरजेडी) ने भाजपा को उपचुनावों में करारा झटका दिया है। बुधवार को लोकसभा और विधानसभा सीटों के जारी हुए परिणामों ने भाजपा के उत्साह को फीका कर दिया। सपा ने जहां गोरखपुर और फूलपूर की लोकसभा सीटों पर उपचुनाव में बाजी मारी। वहीं, बिहार में अररिया की लोकसभा सीट और जहानाबाद विस सीट पर आरजेडी ने कब्जा किया। भाजपा के खाते में सिर्फ भभुआ विस सीट आ पाई।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इससे पहले त्रिपुरा की जीत पर कहा था कि यहां राजनीतिक कारणों से भाजपा के कार्यकर्ताओं की हत्या हुई। नॉर्थ ईस्ट ठीक हो गया तो अब पूरी इमारत ठीक होगी। हमारे लिए ये ‘नो वन से वन’ (NO ONE से WON) तक की यात्रा। पीएम ने ट्विटर पर लिखा था, “त्रिपुरा के मेरे भाइयों बहनों ने जो किया वह अविश्वसनीय है। उनके इस समर्थन और प्यार के लिए मेरे पास शब्द नहीं हैं। हम त्रिपुरा के विकास में कोई कसर नहीं छोड़ेंगे।”