यूपी विधानसभा और फिर विधान परिषद चुनाव 2022 में हार के बाद से सपा में इस्तीफों की झड़ी लग गई है। कई बड़े पदाधिकारियों के पार्टी छोड़ने के बाद अब स्वामी प्रसाद मौर्य के भतीजे प्रमोद मौर्य ने भी सपा से इस्तीफा दे दिया है। उन्होंने पार्टी मुखिया अखिलेश यादव पर जातिवादी होने का आरोप लगाया है। उत्तर प्रदेश में समाजवादी पार्टी के पूर्व सचिव प्रमोद कुमार मौर्य ने पार्टी से इस्तीफा देते हुए कहा कि सपा ने मौर्य, शाक्य, सैनी, कुशवाहा समाज की तरफ उपेक्षापूर्ण रवैया अपनाया है।
प्रमोद मौर्य ने अखिलेश यादव को लिखे पत्र में लिखा कि 17 फरवरी 2018 को मैंने अखिलेश यादव को अपना नेता मानकर सपा की सदस्यता ली थी। उस वक्त मुझे लगा था कि अखिलेश दलितों, पिछड़ों के नेता हैं। उन्होंने अपने पत्र में आगे लिखा कि सपा ज्वाइन करते समय मेरे कई सलाहकारों ने मुझसे कहा था कि समाजवादी पार्टी केवल एक जाति विशेष के लोगों की पार्टी है, लेकिन फिर भी मैंने आपसे प्रभावित होकर सदस्यता ली। प्रमोद मौर्य ने पत्र में लिखा कि पार्टी में काम करते हुए मैंने महसूस किया कि समाजवादी पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष केवल अपनी जाति को बड़ी जाति मानते हैं। पार्टी की बैठकों में अक्सर मौर्य, कुशवाहा, शाक्य, सैनी, पटेल और दूसरी पिछड़ी जातियों को छोटा दिखाने की कोशिश करते हैं। सपा में 75 जिलों में एक भी जिलाध्यक्ष कुशवाहा, मौर्य, शाक्य या सैनी जाति का नहीं है।
भाई की मौत पर नहीं व्यक्त की संवेदना- प्रमोद मौर्य ने इस्तीफा देते हुए कहा कि उनके भाई की मौत की सूचना मिलने पर भी अखिलेश या उनके प्रतिनिधि ने संवेदना नहीं जताई। उन्होंने अपनी पत्नी को जिला पंचायत अध्यक्ष के पद का टिकट न मिलना भी पार्टी छोड़ने का कारण बताया।
इस्तीफे में स्वामी प्रसाद मौर्य का भी जिक्र- प्रमोद ने इस्तीफे में स्वामी प्रसाद मौर्य का भी जिक्र किया है। उन्होंने लिखा कि स्वामी प्रसाद मौर्य ने जिन लोगों को टिकट देने की बात कही थी आपने उसे पहले माना था, लेकिन टिकट देते समय आपने सिर्फ इसलिए टिकट काट दिया कि अगर ये लोग जीत गए तो शाक्य, सैनी, मौर्य और कुशवाहा समाज की पार्टी में मजबूत हैसियत हो जाएगी। प्रमोद मौर्य ने कहा है कि सपा से ज्यादा तो भाजपा से इन जातियों के लोग जीतकर आए हैं।
इन नेताओं ने अपने पद से दिया इस्तीफा- उत्तर प्रदेश विधानसभा 2022 के चुनाव के नतीजे आने के बाद से ही समाजवादी पार्टी लोगों के बगावती सुर तेज हो गए थे। इसी कड़ी में मुलायम सिंह यूथ बिग्रेड के जिला उपाध्यक्ष अदनान चौधरी ने इस्तीफा दिया। दूसरी ओर समाजवादी पार्टी के पूर्व जिला महासचिव सिकंदर अली गाड़ा ने पार्टी प्रमुख अखिलेश यादव पर गंभीर आरोप लगाते हुए पार्टी छोड़ दी थी। सपा लोहिया वाहिनी के नगर अध्यक्ष नवीन शर्मा ने भी अखिलेश यादव की पार्टी से इस्तीफा दे दिया है। नवीन शर्मा से पहले कासिम राईन, युवजनसभा के नूरपुर ब्लॉक अध्यक्ष मोहम्मद हमजा शेख और इरशाद खान भी सपा से रिजाइन कर चुके हैं। जिन 9 नेताओं ने अपने पद से सामूहिक इस्तीफा दिया उनमें नीतिश भाटी, मोहित नागर, सोनू चौधरी, विजय गुर्जर, विक्रांत चौधरी, अकबर खान, प्रशांत भाटी, वकील सिद्दकी, अक्षय पंडित के नाम शामिल हैं।