समाजवादी पार्टी के वरिष्ठ नेता आजम खान 27 महीने बाद उत्तर प्रदेश की सीतापुर जेल से रिहा हो गए। सुप्रीम कोर्ट ने आजम खान की जमानत मंजूर की थी जिसके बाद शुक्रवार (20 मई 2022) को सपा नेता जेल से बाहर आए। जिसके बाद सपा नेता रविदास मेहरोत्रा ने दावा किया कि आजम खान यूपी विधानसभा में अखिलेश के बगल में बैठेंगे।

सपा के नेताओं से आजम खान की नाराजगी और शिवपाल यादव से नजदीकियों के सवाल पर रविदास ने कहा, “विधानसभा में अखिलेश यादव की सीट के बायीं तरफ आजम खान की सीट और दायीं तरफ मेरी सीट है और वो अखिलेश के बगल में बैठेंगे। इससे साफ होता है कि वो सपा अध्यक्ष के कितने खास हैं और दोनों के बीच कोई नाराजगी नहीं है।” उन्होंने बीजेपी पर इस तरह ही अफवाह उड़ाने का आरोप लगाया।

अखिलेश यादव ने नहीं दी कोई प्रतिक्रिया: आजम खान को अंतरिम जमानत मिलने पर जहां अखिलेश यादव की ओर से कोई प्रतिक्रिया सामने नहीं आई है, वहीं समाजवादी पार्टी ने 6 घंटे बाद ट्वीट कर कहा कि आजम खान को दी गई अंतरिम जमानत अन्याय पर न्याय की जीत है। इस बात पर सफाई देते हुए रविदास मेहरोत्रा ने कहा कि सपा के अंशु मालिक और कुछ विधायक आजम खान को रिसीव करने सीतापुर जेल गए थे।

बीजेपी की साजिश विफल: रविदास मेहरोत्रा ने कहा, आजम खान सुबह 6.30 बजे जेल से रिहा होकर रामपुर गए हैं और भारतीय जनता पार्टी की साजिश विफल हो गयी है। बीजेपी चाहती थी कि आजम खान की जेल में ही मौत हो जाए। सपा नेता ने कहा कि आजम खान उत्तर प्रदेश के विधानसभा सत्र में आएंगे और जेल में बीजेपी के अत्याचार की पोल खोलेंगे। रविदास मेहरोत्रा ने कहा कि बीजेपी के लोग जेल में आजम खान से कहते थे कि समाजवादी पार्टी का कोई आपसे मिलने नहीं आता और जब हम मिलने जाते थे तो प्रशासन हमें उनसे मिलने नहीं देता था।

बीजेपी सरकार के पास फालतू समय नहीं: वहीं, दूसरी ओर आजम खान की रिहाई पर यूपी सरकार में दर्जा प्राप्त मंत्री बाबूराम निषाद ने कहा कि आजम खान को घोटालों में सजा मिली थी, न्यायपालिका ने तथ्यों को देखकर उन्हें जमानत दी है। जमानत उनका अधिकार है, जो उन्हें मिल गया। बीजेपी सरकार के आजम खान को झूठे मुकदमों में फंसाने के सवाल पर बाबूराम निषाद ने कहा कि बीजेपी सरकार के पास इतना समय नहीं हैं कि जनता की भलाई के काम छोड़कर भ्रष्टाचारियों पर अपना समय और ध्यान लगाए।