Azam khan: सपा नेता आजम खान को रामपुर सेशन कोर्ट से तगड़ा झटका लगा है। अदालत ने उनकी उस याचिका को खारिज कर दिया है, जिसमें उन्होंने हेट स्पीच में दी गई सजा को चुनौती दी थी। कोर्ट ने गुरुवार (10 नवंबर, 2022) को सुनवाई के दौरान उनकी अपील को खारिज कर दिया।

सुप्रीम कोर्ट ने चुनाव आयोग को रामपुर सदर सीट पर विधानसभा उपचुनाव के लिए 10 नवंबर तक अधिसूचना जारी नहीं करने का निर्देश दिया था। आजम खान की सदस्यता अयोग्य होने के बाद अब रामपुर सदर से चुनाव का रास्ता साफ हो गया है। अब 11 तारीख को रामपुर नगर विधानसभा के उपचुनाव की अधिसूचना जारी हो सकती है।

इससे पहले सुप्रीम कोर्ट ने आजम खान की विधानसभा सदस्यता रद्द किये जाने के खिलाफ लगाई गई याचिका पर बुधवार को सुनवाई की थी। कोर्ट ने कहा था कि आजम खान को उचित मौका दिया जाना चाहिए। कोर्ट ने रामपुर सेशन कोर्ट को आजम खान की अर्जी पर गुरुवार को ही सुनवाई करने का निर्देश भी दिया था। सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद आज इस मुद्दे पर सुनवाई हुई और अदालत ने सपा नेता की याचिका को खारिज कर दिया।

आजम खान को पिछले महीने रामपुर कोर्ट द्वारा 2019 के हेट स्पीच मामले में दोषी पाया गया था और उन्हें तीन साल की जेल की सजा सुनाई गई थी। उन्होंने लोकसभा चुनाव के दौरान पीएम नरेंद्र मोदी और यूपी के सीएम योगी आदित्यनाथ और रामपुर के तत्कालीन डीएम आंजनेय के सिंह को लेकर भड़काऊ भाषण दिए थे। 27 अक्टूबर को जनप्रतिनिधित्व अधिनियम 1951 और रैम्प के तहत उन्हें अयोग्य घोषित कर दिया गया था। सदस्‍यता जाने को लेकर आजम खान ने सुप्रीम कोर्ट में अर्जी लगाई थी, जिस पर कोर्ट ने उत्‍तर प्रदेश सरकार और चुनाव आयोग से जवाब मांगा था।

7 नवंबर को सुप्रीम कोर्ट ने यूपी सरकार और चुनाव आयोग से जवाब मांगा था। आजम खान से जुड़े इस मामले की सुनवाई करते हुए जस्टिस डी. वाई चंद्रचूड़ और जस्टिस हिमा कोहली की खंडपीठ ने उत्तर प्रदेश की ओर से पेश अतिरिक्त महाधिवक्ता गरिमा प्रसाद को आजम खान की याचिका पर अपना जवाब दाखिल करने के लिए कहा था। पीठ ने प्रसाद से उनकी याचिका को निर्वाचन आयोग के स्थायी अधिवक्ता तक भी पहुंचाने के लिए कहा था। कोर्ट ने प्रसाद से कहा था कि उन्हें अयोग्य ठहराने की क्या जल्दी थी?