राजस्थान में इस साल के अंत में विधानसभा चुनाव होने हैं। चुनाव से पहले सभी दल ज्यादा से ज्यादा सीटें जीतने के लिए रणनीति बना रहे हैं। कांग्रेस पार्टी और सीएम अशोक गहलोत का दावा है कि वो ट्रेंड तोड़ते हुए राज्य की सत्ता में लगातार दूसरी बार वापसी करेंगे लेकिन AIMIM के मुखिया असदुद्दीन ओवैसी उनकी मुश्किलें बढ़ाते हुए नजर आ रहे हैं।

असदुद्दीन ओवैसी लगातार राजस्थान में अपनी पार्टी के विस्तार की संभावनाएं तलाश रहे हैं। ऐसे में वो राजस्थान की अशोक गहलोत सरकार पर निशाना भी साध रहे हैं। अब उन्होंने राजस्थान कांग्रेस के साथ-साथ उसके 9 मुस्लिम विधायकों पर भी प्रहार किया है। ओवैसी का आरोप है कि कांग्रेस और उनके 9 मुस्लिम विधायक उस समय शांत रहे, जब मुस्लिम समुदाय को उनकी सबसे ज्यादा चिंता थी।

पिछले रविवार को औवैसी ने अपनी जयपुर रैली में कांग्रेस पर जबरदस्त प्रहार किया था। वो पिछले कुछ समय से राजस्थान पर खास फोकस कर रहे हैं। वह राज्य के कई दौरे कर चुके हैं, लगातार पब्लिक मीटिंग्स कर रहे हैं और लोगों से निवेदन कर रहे हैं कि इस बार उनकी पार्टी के उम्मीदवारों को मौका देकर देखें।

AIMIM सुप्रीमो यह ऐलान कर चुके हैं कि राजस्थान में उनकी पार्टी जयपुर की हवा महल विधानसभा सीट से साल के अंत में होने वाले विधानसभा चुनाव में राजस्थान कोर कमेटी संयोजक जमील खान को उतारने जा रही है। इस विधानसभा सीट पर इस समय कांग्रेस पार्टी के दिग्गज और गहलोत सरकार में मंत्री महेश जोशी का कब्जा है। महेश जोशी सीएम अशोक गहलोत के समर्थक माने जाते हैं।

‘ये नवरत्न मुस्लिमों के नेता नहीं’

अपनी जयपुर रैली में असदुद्दीन ओवैसी ने कांग्रेस के मुस्लिम विधायकों पर हमला बोलते हुए कहा कि राजस्थान में अल्पसंख्यक मुस्लिम समुदाय के पास कोई राजनीतिक नेतृत्व नहीं है। कांग्रेस कहेगी कि उनके पास 9 मुस्लिम विधायक हैं। ये ‘नवरत्न’ आपके नेता नहीं हैं। ये कभी नहीं बोलेंगे। इनकी जुबान पर अशोक गहलोत ने ताला लगा दिया है। नासिर और जुनैद को किडनैप कर राजस्थान ले जाया गया और आग लगा दी गई लेकिन इन नवरत्नों में इतना साहस नहीं था कि वो जुनैद और नासिर के बारे में कुछ बोलें।

जुनैद और नासिर के मामले की टेलर कन्हैया लाल के मामले से तुलना करते हुए असदुद्दीन ओवैसी ने दोनों घटनाओं में राज्य सरकार द्वारा दिए गए मुआवजे में “अंतर” का भी जिक्र किया। उन्होंने कहा कि हम कन्हैया लाल की हत्यारों की निंदा करते हैं। हम मानते हैं कि कन्हैया लाल के हत्यारे आतंकी हैं। अगर हम जुनैद और नासिर के हत्यारों को भी आतंकी न कहें तो हम उन्हें क्या कहें? क्या हम उन्हें देशभक्त कहें?

असदुद्दीन ओवैसी ने आगे कहा कि जिन्होंने कन्हैया लाल की हत्या की वो आतंकी हैं और जिन्होंने जुनैद और नासिर को मारा वो भी आतंकी हैं। जब सीएम से सवाल किया गया कि कन्हैया लाल के परिवार को मुआवजे के रूप में 50 लाख दिए गए लेकिन जुनैद और नासिर को 15 लाख ही दिए गए तो उन्होंने कहा कि कन्हैया लाल की हत्या आतंकियों ने की। उन्होंने राजस्थान के सीएम से सवाल करते हुए पूछा, “अशोक गहलोत साहब, मैं आपकी आतंकवादी की परिभाषा को नहीं समझ पा रहा हूं।”

पसमांदा मुसलमानों के लिए आरक्षण की मांग

ओवैसी ने अपने भाषण के दौरान कहा कि राजस्थान सरकार को पसमांदा मुसलमानों को आरक्षण देना चाहिए। उन्होंने कहा कि राज्य में 38 फीसदी युवा मुसलमान बेरोजगार है। कांग्रेस पार्टी अपना मुंह नहीं खोल सकती। यह सिर्फ मुसलमानों को धोखा दे सकती है।

कांग्रेस ने ओवैसी को बताया बीजेपी की बी टीम

ओवैसी के वार के बाद कांग्रेस की तरफ से भी पलटवार किया गया। कांग्रेस ने ओवैसी पर बीजेपी की बी टीम होने का आरोप लगाते हुए कहा कि ओवैसी सिर्फ चुनाव के समय राज्य के दौरे करते हैं। सभी जानते हैं कि वो बीजेपी की बी टीम के रूप में काम कर रहे हैं। पिछले पांच वर्षों में राजस्थान सरकार ने अल्पसंख्यकों के कल्याण के लिए जिस तरह के कार्य किए हैं, उसकी किसी भी राज्य में कोई मिसाल नहीं है।

राजस्थान सरकार में अल्पसंख्यक मामलों के मंत्री शाले मोहम्मद ने कहा कि मुख्यमंत्री अशोक गहलोत खुद जुनैद और नासिर के घर गए थे। लोकल विधायक जाहिदा खान भी उनके परिवारों से मिलने के लिए गईं। नासिर और जुनैद के हत्या बीजेपी शासिल हरियाणा के रहने वाले हैं। ओवैसी को इस मामले पर हरियाणा में बोलते हुए नहीं सुना गया। राजस्थान में किसी तीसरी सियासी ताकत के लिए स्पेस नहीं है।

मुस्लिमों का एक धड़ा भी जता चुका है नाराजगी

बता दें कि राजस्थान में मुस्लिम समुदाय का एक धड़ा लगातार गहलोत सरकार के खिलाफ आवाज उठाता रहा है। हाल के सालों में कुछ मुस्लिम संगठनों ने मेयर चुनाव में एक भी मुस्लिम प्रत्याशी न उतारने पर गहलोत सरकार के खिलाफ मोर्चा खोला था। इसके अलावा मुस्लिम समुदाय राज्य सरकार द्वारा उर्दू शिक्षा की कथित उपेक्षा और मदरसा पैरा-शिक्षकों की शिकायतों के समाधान की कमी जैसे मुद्दे भी उठाता रहा हैं।