दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल बीमार पड़ गये हैं। इसके बाद उन्होंने अपनी सारी मीटिंग्स कैंसिल कर दी है। डायबिटीज के पेशेंट केजरीवाल ने 19 जून को ही एलजी अनिल बैजल के आवास पर दे रहे अपने धरने को खत्म किया था। एनडीटीवी की एक रिपोर्ट के मुताबिक एल जी आवास पर नौ दिनों तक बंद रहने की वजह से उन्हें सुबह और शाम को टहलने से वंचित रहना पड़ा। यहीं नहीं यहां पर उन्होंने अनियमित खाना भी खाया। इसकी वजह से उनका बल्ड सुगर काफी बढ़ गया। 49 साल के केजरीवाल डायबिटीज का इलाज करवा रहे हैं। कभी-कभी वे सर्दी-खांसी की चपेट में भी रहते हैं। एक सूत्र के मुताबिक, “वे रोजाना एक घंटे सुबह और एक घंटे शाम टहलते हैं, उनका खाना भी काफी संयमित रहता है, धरने की वजह से इस रुटीन पर असर पड़ा और उनकी सेहत गिर गई।”

अगर केजरीवाल आज काम पर आते तो उन्हें आईएएस अधिकारियों के साथ लंबी-लंबी मीटिंग्स करनी पड़ती। इसका असर उनके सेहत पर पड़ता। इसकी वजह से केजरीवाल के ऑफिस ने आज के उनके सारे अप्वाइंटमेंट रद्द कर दिये। बता दें कि मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने 19 जून को नौ दिनों से चले आ रहे अपने धरने को खत्म कर दिया था। इससे पहले केजरीवाल के मंत्रियों के साथ आईएएस अधिकारियों के बैठक हुई थी। आप आदमी पार्टी ने इसे अपनी छोटी जीत बताया है।

उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने कहा कि उपराज्यपाल अनिल बैजल के कार्यालय के भीतर प्रदर्शन से राशन की लोगों के द्वार तक आपूर्ति के प्रस्ताव को मंजूरी नहीं मिल सकी जो धरने के पीछे के मुख्य मुद्दों में से एक था। उपराज्यपाल कार्यालय से बाहर आने पर आप समर्थकों ने केजरीवाल का स्वागत किया और बाद में उनके आवास पर उनका स्वागत किया गया जहां उन्होंने पार्टी के कार्यकर्ताओं को संबोधित किया। केजरीवाल ने पार्टी कार्यकर्ताओं से कहा, ‘‘अगर उपराज्यपाल ने आईएएस अधिकारियों की हड़ताल को बढ़ावा दिया तो यह बेहद दुर्भाग्यपूर्ण है। यह छोटी सी जीत है। 99 फीसदी आईएएस अधिकारी बहुत अच्छे हैं। हमने बिजली और जल के क्षेत्र में बहुत कुछ किया है और हम यह अकेले नहीं कर सकते थे।’’

केजरीवाल ने कहा, ‘‘लेकिन कुछ अधिकारियों ने व्यक्तिगत रूप से हमें बताया कि उन पर आप सरकार के साथ काम नहीं करने के लिए दबाव डाला जा रहा था। हम आईएएस अधिकारियों की हड़ताल को लेकर पिछले चार महीने से चुप थे लेकिन हम इस मुद्दे को हल करना चाहते थे इसलिए हमें लगा कि यह मामला जनता के सामने लाया जाना चाहिए। दिल्ली को पूर्ण राज्य का दर्जा दिलाने की लड़ाई जारी रहेगी।’’ बता दें कि केजरीवाल, सिसोदिया , स्वास्थ्य मंत्री सत्येंद्र जैन और श्रम मंत्री गोपाल राय ने अपनी मांगों को लेकर 11 जून को उपराज्यपाल कार्यालय में धरना शुरू किया था। इन मांगों में आईएएस अधिकारियों को उनकी ‘‘हड़ताल ’’ खत्म करने के निर्देश देना और राशन की डोरस्टेप डिलीवर को मंजूरी देना शामिल था।