दिल्ली सरकार के मंत्रिपरिषद में बड़ा फेरबदल किया गया है। एलजी वीके सक्सेना से कैबिनेट में फेरबदल को मंजूरी देने और मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल द्वारा प्रस्ताव सरकार को वापस भेजे जाने के बाद आतिशी वित्त और राजस्व विभागों का अतिरिक्त प्रभार संभालेंगी। इसके साथ ही आतिशी के पास अब शिक्षा और ऊर्जा समेत 12 विभागों की जिम्मेदारी है। इससे पहले, सरकारी सूत्रों ने आरोप लगाया था कि एलजी वीके सक्सेना पिछले चार दिनों से दिल्ली कैबिनेट में बड़े फेरबदल से जुड़ी फाइल को रोके बैठे थे, जिसे आप सरकार लागू करना चाहती थी।
उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया के जेल जाने के बाद वित्त विभाग की जिम्मेदारी कैलाश गहलोत को दी गई थी। अब दोनों विभाग आतिशी के पास हैं। ऐसे में उनकी जिम्मेदारी बढ़ गई है। दिल्ली विधानसभा में कुल 70 विधायक हैं। ऐसे में वहां कुल विधायकों के केवल 10 फीसदी को ही मंत्री बनाया जा सकता है। अभी मुख्यमंत्री केजरीवाल समेत कुल सात मंत्री हैं। इनमें कैलाश गहलोत, गोपाल राय, सौरभ भारद्वाज, आतिशी मार्लेना, इमरान हुसैन और राज कुमार आनंद शामिल हैं।
आतिशी के पास महिला विकास, शिक्षा, पर्यटन, लोक निर्माण विभाग जैसे अहम मंत्रालय भी
अभी दिल्ली सरकार में आतिशी के पास महिला विकास, शिक्षा, पर्यटन, लोक निर्माण विभाग जैसे अहम मंत्रालय हैं। वहीं राज कुमार आनंद के पास इस समय समाज कल्याण, श्रम और रोजगार समेत कई मंत्रालय हैं। सौरभ भारद्वाज के पास स्वास्थ्य, पानी, शहरी विकास, सेवाएं, इंडस्ट्री समेत कई अहम मंत्रालय हैं।
कैलाश गहलोत के पास कानून, परिवहन, और गृह समेत कई बड़े मंत्रालय हैं। इमरान हुसैन खाद्य आपूर्ति और चुनाव मंत्रालय की जिम्मेदारी निभा रहे हैं। गोपाल राय के पास विकास, सामान्य प्रशासन, पर्यावरण और वन विभाग की जिम्मेदारी हैं।
पिछले दिनों केंद्र सरकार के एक अध्यादेश के बाद दिल्ली सरकार के कामकाज पर एलजी का नियंत्रण बढ़ गया है। इसको लेकर केजरीवाल सरकार लगातार विरोध कर रही है। खुद मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने हाल ही में पटना में हुए विपक्षी दलों की बैठक में इस अध्यादेश के खिलाफ उनके आंदोलन में सहयोग की मांग की थी। हालांकि इस मुद्दे पर कोई भी नेता खुलकर कुछ नहीं बोला।
