दिल्ली के सफदरजंग अस्पताल में बेटी की मौत की खबर सुनकर मां को हार्ट अटैक आने की जानकारी मिली है। फिलहाल उनका इलाज चल रहा है। बता दें कि पौड़ी (उत्तराखंड) की एक युवती को 16 दिसंबर को एक युवक ने पेट्रोल छिड़ककर जिंदा जला दिया था। इससे वह 70% तक जल गई थी। उसे 19 दिसंबर को दिल्ली के सफदरजंग अस्पताल में भर्ती कराया गया था, जहां रविवार को छात्रा की मौत हो गई।
16 दिसंबर को हुई थी घटना
पौड़ी जिले में कफोलस्यूं पट्टी गांव में रहने वाली छात्रा (18) 16 दिसंबर को बीएससी का प्रैक्टिकल देकर स्कूटी से घर लौट रही थी। वह हेमवतीनंदन बहुगुणा सेंट्रल गढ़वाल यूनिवर्सिटी के पौड़ी कैंपस में पढ़ती थी। गहड़ गांव निवासी मनोज सिंह उर्फ बंटी ने उसे रास्ते में रोक लिया और गलत हरकत करने लगा। विरोध जताने पर आरोपी ने युवती पर पेट्रोल डालकर आग लगा दी। करीब 22 मिनट बाद पुलिस मौके पर पहुंची, तब तक लोग युवती को तड़पते हुए देखते रहे। पुलिस ने उसे जिला चिकित्सालय पौड़ी भेजा, जहां से डॉक्टरों ने मेडिकल कॉलेज श्रीनगर रेफर कर दिया था। हालत गंभीर होने पर 19 दिसंबर को पीड़िता को दिल्ली के सफदरजंग अस्पताल भेजा गया था।
सीएम ने ट्वीट करके जताया दुख
छात्रा की मौत पर उत्तराखंड के सीएम त्रिवेंद्र सिंह रावत ने भी दुख जताया। उन्होंने ट्वीट किया, ‘‘पेट्रोल से जिंदा जलाई गई छात्रा के निधन पर स्तब्ध हूं। दुख की इस घड़ी में सरकार परिजनों के साथ है। समाज में इस तरह के कृत्य के लिए कोई जगह नहीं है। बच्ची की जान बचाने की डॉक्टरों ने हरसंभव कोशिश की, लेकिन कामयाब नहीं हो सके। इस घटना के आरोपी को कठोर से कठोर सजा मिलेगी।’’
परिवार का इकलौता सहारा थी युवती
यह युवती अपने गरीब परिवार का एकमात्र सहारा थी। उसके पिता का निधन हो चुका है। छात्रा की मौत से परिवार के साथ-साथ यूनिवर्सिटी के छात्र भी शोक में डूब गए। एडीजी कानून-व्यवस्था अशोक कुमार ने सभी जिलों के पुलिस अधिकारियों को स्कूल-कॉलेजों के बाहर पुलिस सुरक्षा बढ़ाने के निर्देश दिए हैं। ऐसी घटनाओं को रोकने में नाकाम रहने पर कांग्रेस ने सत्तारूढ़ बीजेपी सरकार को घेरा है।
‘यह घटना उत्तराखंड के माथे पर कलंक’
पूर्व सीएम हरीश रावत और कांग्रेस के मुख्य प्रवक्ता एमडी जोशी ने कहा कि छात्रा की मौत के लिए सरकार जिम्मेदार है। अगर छात्रा को सही वक्त पर इलाज मिलता तो उसकी मौत नहीं होती। इस घटना पर व्यापारी संगठनों ने भी गुस्सा जताया है।