मध्य प्रदेश के सतना जिले से एक हैरान कर देने वाला मामला सामने आया है। यहां पर एक किसान की वार्षिक आय मात्र 3 रुपये वाला प्रमाणपत्र जारी हो गया। इसके बाद ये आय प्रमाण पत्र सोशल मीडिया पर वायरल हो गया। पत्र के वायरल होने के बाद कांग्रेस ने बीजेपी की मोहन यादव सरकार पर निशाना साधा।
कांग्रेस ने बीजेपी पर साधा निशाना
कांग्रेस ने चुटकी लेते हुए कहा कि मुख्यमंत्री मोहन यादव के शासन में भारत का सबसे गरीब आदमी स्थापित हुआ है। इसके बाद अधिकारियों ने प्रमाण पत्र का एक करेक्टेड वर्जन जारी किया, जिसमें कहा गया कि पहले वाला प्रमाण पत्र एक लिपिकीय गलती का परिणाम था। प्रारंभिक प्रमाण पत्र कोठी स्थित तहसील कार्यालय द्वारा जारी किया गया था और उस पर स्थानीय तहसीलदार के हस्ताक्षर थे।
यह घटना तब हुई जब नयागांव निवासी रामस्वरूप ने कोठी तहसील कार्यालय में आय प्रमाण पत्र के लिए आवेदन किया। जब उन्हें 22 जुलाई की तारीख वाला यह दस्तावेज़ मिला, तो उसमें उनके परिवार की वार्षिक आय 3 रुपये बताई गई थी, जिससे उनकी महीने आय मात्र 25 पैसे हो गई। प्रमाण पत्र पर तहसीलदार सौरभ द्विवेदी के हस्ताक्षर थे और कहा गया था कि आय का विवरण आवेदक द्वारा दी गई घोषणा पर आधारित है।
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इसके बाद रामस्वरूप तहसील कार्यालय में शिकायत दर्ज कराने गए। 25 जुलाई को एक नया प्रमाण पत्र जारी किया गया। इस बार उनकी वार्षिक आय 30,000 रुपये यानी 2,500 रुपये प्रति माह बताई गई।
वहीं मध्य प्रदेश कांग्रेस ने अपने एक्स हैंडल पर प्रमाण पत्र की तस्वीर पोस्ट करते हुए कहा, “मोहन (यादव) के राज में भारत का सबसे गरीब आदमी मिल गया। सतना जिले में आय प्रमाण पत्र जारी हुआ! सालाना आय मात्र 3 रुपये बताई गई! क्या यह चौंकाने वाला नहीं है! जनता को गरीब बनाने का मिशन? क्योंकि अब कुर्सी खुद कमीशन खा रही है!”