लखनऊ एयरपोर्ट पर रेडियोएक्टिव पदार्थ मिलने की सूचना मिलने से हड़कंप मच गया। जानकारी मिलते ही एयरपोर्ट प्रशासन ने कार्गो एरिया को खाली करा लिया गया है। स्थिति को देखते हुए मौके पर एनडीआरएफ की टीमों को भी बुला लिया गया है। जानकारी के मुताबिक रेडियोएक्टिव पदार्थ मिला। जिसको लेकर सभी सामानों और लगेज की स्कैनिंग की जा रही थी। इसको लेकर एनडीआरएफ की टीम जांच में जुटी है। रेडियोएक्टिव पदार्थ के प्रभाव से एयरपोर्ट पर स्कैनिंग कर रहे दो कर्मचारी बेहोश हो गए।
लखनऊ के चौधरी चरण सिंह अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डा के प्रवक्ता ने एक बयान जारी कर कहा है कि मेडिकल कंसाइनमेंट ने रेडियोधर्मी पदार्थ के लिए अलार्म एक्टिव कर दिया है। एनडीआरएफ की टीम को अलार्म की वजह जानने के लिए बुला लिया गया है। वर्तमान में स्थिति पूरी तरह से कंट्रोल में है। रेडियोएक्टिव पदार्थ मिलने से एयरपोर्ट के संचालन पर कोई असर नहीं है। प्रवक्ता ने बताया कि यह रेडियोएक्टिव पदार्थ कैंसर की दवा से लीक हुआ है। यह घटना लखनऊ से गुवाहाटी जा रहे विमान में एक बॉक्स के जरिए कैंसर की दवा भेजी जा रही थी। यह घटना एयरपोर्ट के टर्मिनल 3 की है।
जानकारी के अनुसार रेडियोएक्टिव पदार्थ एक लकड़ी के डब्बे में पूरी तरह से पैक था। लेकिन अचानक अलार्म बजने लगा। अलार्म बजते ही एयरपोर्ट की सुरक्षा में लगे सभी जवान तुरंत एक्टिव हो गए। स्थिति को देखते हुए एयरपोर्ट प्रशासन द्वारा एनडीआरएफ की टीम को बुलाया गया।
रेडियोएक्टिव पदार्थ होता है कितना खतरनाक
रोडियोएक्टिव पदार्थ वो तत्व है जिसमें से अल्फा, बीटा, गामा किरणें उत्सर्जित होती है। इन अल्फा, बीटी गामा से अतिसक्रिय पदार्थ निकलते हैं। जो बहुत ही घातक होते हैं। इनसे निकलने वाले विकिरणों के संपर्क में आने से मानव या जीव कई गंभीर बीमारियों की चपेट में आ सकता है। आपको बता दें कि बॉडी में रेसज, तेज खांसी और फेफड़े पर इसका सीधा असर होता है। इतना ही नहीं इसका असर किडनी पर भी काफी होता है। इसमें उपलब्ध गैस का इस्तेमाल एक्स-रे और मेडिकल जुड़े जांच में प्रयोग किया जाता है।