पंचकुला की विशेष अदालत ने आज (गुरुवार) पत्रकार रामचंद्र छत्रपति हत्या के मामले में वीडियो कॉन्फ्रेस के जरिए गुरमीत राम रहीम को उम्रकैद की सजा सुनाई। बता दें पत्रकार रामचंद्र छत्रपति हत्या के मामले में डेरा सच्चा सौदा प्रमुख गुरमीत राम रहीम को कोर्ट ने उम्रकैद की सुनाने के साथ ही पचास हजार का जुर्माना भी लगाया गया है। वहीं मामले में तीन अन्य आरोपियों कुलदीप सिंह, निर्मल सिंह और कृष्ण लाल को भी उम्रकैद की सजा सुनाई गई है। गौरतलब है कि इस सजा की शुरुआत पुरानी 20 साल की सजा के बाद होगी। यानी 70 साल की उम्र के बाद शुरू होगी ये सजा।
70 साल की उम्र के बाद शुरू होगी सजा: बता दे कि पंचकुला की विशेष अदालत ने आज (गुरुवार) पत्रकार रामचंद्र छत्रपति हत्या के मामले में जो सजा सुनाई है। उसमें गौर करने वाली ये है कि ये सजा पुरानी सजा के बाद शुरू होगी। यानी राम रहीम अभी पहले से ही रेप की सजा काट रहा है। यानी 70 साल की उम्र के बाद से इस साल की शुरूआत होगी।
पत्रकार रामचंद्र ने किया था साध्वियों के यौन शोषण का खुलासा: बता दें कि साध्वी यौन शोषण मामले में लिखे गए पत्रों के आधार पर पत्रकार रामचंद्र ने अपने न्यूजपेपर में खबरें प्रकाशित की थीं। जिसके बाद उन पर चुप रहने का दबाव बनाया गया। जब वे नहीं मानें तो 24 अक्टूबर 2002 को उन्हें गोली मार दी गई। जिसके बाद दिल्ली स्थित अपोलो अस्पताल में 21 नवंबर 2002 को उनकी मौत हो गई थी।
जेलर को पहले सुनाया गया फैसला: बता दें कि राम रहीम से पहले ये फैसला जेलर को सुनाया गया था। उसके बाद गुरमीत राम रहीम को फैसला सुनाया गया। फैसला सुनते वक्त राम रहीम ने सफेद ड्रेस पहनी थी और हाथ जोड़कर खड़ा था। वहीं फैसले के बाद बिना कुछ बोले राम रहीम ने फैसला स्वीकार कर लिया।
राम रहीम ने ऐसे दिया गया था वारदात को अंजाम: पुलिस के मुताबिक 24 अक्टूबर 2002 को बाइक पर आए कुलदीप ने रामचंद्र की हत्या की थी। उसके साथ निर्मल भी था। रामचंद्र पर जिस रिवॉल्वर से गोलियां चलाई गईं, उसका लाइसेंस डेरा सच्चा सौदा के मैनेजर किशन लाल के नाम पर था। कोर्ट ने राम रहीम को हत्या की साजिश रचने का दोषी माना है।