हफ्ते भर पहले ऐसी खबर आई थी कि गुजरात के वडोदरा स्थित याकूतपुरा के एक मस्जिद ने गेट पर बोर्ड लगाकर बीजेपी के एक अल्पसंख्यक नेता जाहिर कुरैशी की एंट्री पर बैन लगाया था। अब इस नेता पर वडोदरा शहर जिला कुरैशी जमात पंच (मुस्लिम कसाइयों का संगठन) ने एक्शन लेते हुए सोमवार (10 नवंबर, 2018) को कुरैशी का सामाजिक बहिष्कार करने का ऐलान किया। बता दें कि जाहिर दिवंगत नेता गनी कुरैशी के बेटे हैं, जो गुजरात मुस्लिम राष्ट्रीय मंच (MRM) के प्रमुख थे। आरोप है कि जाहिर ‘मंदिर वहीं बनाएंगे’ का नारा लगाते हुए एक भीड़ के साथ नजर आए थे। समुदाय के नेताओं ने इसे विश्वासघात करार दिया। समुदाय के नेताओं ने कथित तौर पर शहर के अन्य मस्जिदों में नेता की एंट्री पर बैन लगा दिया और उनका सामाजिक बहिष्कार कर दिया।
अहमदाबाद के एक व्यापारी उस्मान कुरैशी ने कहा, ‘यह परिवार समुदाय के खिलाफ जाने के लिए कुख्यात है। अयोध्या में विवादित स्थल पर मंदिर बनाने की वकालत करके और ऐसी प्रतिज्ञा लेने के बाद इस शख्स को समाज से बाहर कर दिया गया है।’हालांकि, जाहिर कुरैशी ने कहा, ‘कुछ समाज विरोधी तत्व हैं। वे नहीं चाहते कि समाज में शांति कायम हो और माहौल बेहतर हो। ऐसा इसलिए क्योंकि मैं बीजेपी के साथ हूं।’
वहीं, मुस्लिम राष्ट्रीय मंच के राष्ट्रीय संयोजक ने कहा, ‘वह खुद मंदिर नहीं बनाना चाहते बल्कि वह मंदिर निर्माण के लिए लोगों का समर्थन जुटाना चाहते हैं। मैंने उन्हें सलाह दी है कि अपनी योजना में आगे बढ़ने से पहले वह अपने समुदाय के नेताओं को मनाएं।’ बता दें कि मस्जिद में एंट्री पर बैन लगने की खबरें आने के बाद कुरैशी ने कहा था कि वह राम मंदिर मसले का शांतिपूर्ण हल चाहते हैं, इसलिए नेताओं से मिलने दिल्ली गए थे। उनका कहना है कि उनकी इस मुलाकात को लेकर कुछ लोगों में गुस्सा था।