दिल्ली में रेखा गुप्ता सरकार को 6 महीने हो गए हैं। इस बीच दिल्ली सरकार में मंत्री आशीष सूद ने बयान दिया कि पहले की आम आदमी पार्टी (AAP) सरकार दिल्ली के सरकारी स्कूलों में एक भी कंप्यूटर लैब फंक्शनल छोड़कर नहीं गई। इसके बाद आम आदमी पार्टी ने भी प्रतिक्रिया दी और आशीष सूद के बयान को गलत बताया। AAP के दिल्ली प्रदेश अध्यक्ष सौरभ भारद्वाज ने कहा कि दिल्ली सरकार के स्कूलों में पढ़ने वाले बच्चे जानते हैं कि वहां पर किस तरह के लैब हैं।
AAP ने क्या कहा?
आम आदमी पार्टी ने दावा किया कि जब मनीष सिसोदिया दिल्ली के शिक्षा मंत्री बने, तब जाकर उन्होंने कंप्यूटर लैब में शिक्षा ले रहे बच्चों से मुलाकात की थी और उसके बारे में जाना था। इसके बाद स्थिति दुरुस्त करवाई गई थी। AAP ने यह भी कहा कि बीते 26 जुलाई को कोंडली से विधायक कुलदीप कुमार ने भी सरकारी स्कूल में जाकर निरीक्षण किया और पाया कि स्कूल में कंप्यूटर लैब संचालित है। कुलदीप कुमार ने यह भी पाया कि बच्चे लैब में बैठकर कंप्यूटर क्लास ले रहे थे।
BJP पर AAP का आरोप
यही नहीं, आम आदमी पार्टी ने बीजेपी पर बड़ा आरोप भी लगाया। AAP के अनुसार भाजपा ने सरकारी स्कूल में कार्यक्रम किया है। आम आदमी पार्टी ने करोल बाग जिले का उदाहरण देते हुए कहा कि यहां पर शनिवार को दिल्ली सरकार के एक स्कूल में राजनीतिक कार्यक्रम किया गया। AAP के अनुसार ऑडिटोरियम में कार्यक्रम किया गया और मंच पर बीजेपी का पोस्टर लगा और नेताओं के फोटो भी लगें।
आम आदमी पार्टी के दिल्ली प्रदेश अध्यक्ष सौरभ भारद्वाज ने कहा कि आशीष सूद का बयान सरासर गलत है। सौरभ भारद्वाज ने कहा कि ऐसे बयान देने के केवल दो ही कारण हो सकते हैं। एक सरकार को बदनाम करना बीजेपी का पुराना काम है और दूसरा दिल्ली में बड़े भ्रष्टाचार की योजना तैयार करना।
सौरभ भारद्वाज ने कहा कि दिल्ली सरकार के स्कूलों में कंप्यूटर लैब नहीं है और कंप्यूटर खराब पड़े हैं, इसी आधार पर नए कंप्यूटर लैब का आदेश जारी किया जाएगा और आम आदमी पार्टी की ही सरकार द्वारा निर्माण किए गए विश्व स्तरीय कंप्यूटर लैब को अपना बताकर भ्रष्टाचार किया जाएगा।
सौरभ भारद्वाज ने कहा कि अगर आशीष सूद की बात सही है, तो उन्होंने इस संबंध में किस प्रकार की जांच के आदेश दिए हैं? सौरभ भारद्वाज ने कहा कि आशीष सूद ने बड़ा आरोप लगाया है और यह एक जांच का विषय है। उन्होंने पूछा कि अगर दिल्ली सरकार ने स्कूलों के लिए सैकड़ो कंप्यूटर खरीदे हैं तो वह कहां गए?