Cyclone Nisarga Updates: चक्रवाती तूफान ‘निसर्ग’ को लेकर महाराष्ट्र और गुजरात सरकार ने अलर्ट जारी किया है। ‘निसर्ग’ किसी भी वक़्त महाराष्ट्र के तट से टकरा सकता है। मौसम विभाग के मुताबिक ‘निसर्ग’ दक्षिण मुंबई से 100 किलोमीटर अलीबाग के तट से टकराने का अनुमान है। इस दौरान तेज हवाएं चलने और भारी बारिश हो सकती है। दक्षिण-पूर्व अरब सागर के ऊपर गहरे दबाव का क्षेत्र बन रहा है। आईएमडी के महानिदेशक मृत्युंजय महापात्र का कहना है कि निसर्ग तूफान आज दोपहर में तट को पार करेगा, तब इसकी गति 100-120 प्रति घंटा रहने की उम्मीद है खासतौर पर मुंबई, ठाणे, रायगढ़ में। दक्षिण कोंकण में भारी वर्षा अभी रिकॉर्ड की गई है, उम्मीद है कोंकण में बारिश जारी रहेगी। आधी रात के बाद तूफान कमजोर होगा।
इस बीच मुख्यमंत्री कार्यालय ने लोगों के सुरक्षित रहने के लिए दिशा-निर्देश जारी किए हैं। इस दिशा-निर्देश में बताया गया है कि चक्रवाती तूफान ‘निसर्ग’ के दौरान क्या करें और क्या नहीं।
इस दौरान क्या करें –
तूफान से बचने के मजबूत फर्नीचर, स्टूल और टेबल का इस्तेमाल करें।
घर के बाहर ढीली वस्तुओं को कसकर बांध लें अथवा उन्हें घर के भीतर ले जाएं।
महत्वपूर्ण दस्तावेजों एवं आभूषणों को प्लॉस्टिक बैग में रखें।
चक्रवात को लेकर रेडियो और टेलीविजन पर जारी निर्देशों पर ध्यान दें।
कमरे के बीच में रहें। कमरे के कोने में जाने से बचें।
तूफान से बचने के मजबूत फर्नीचर, स्टूल और टेबल का इस्तेमाल करें।
आपात स्थिति के दौरान क्या करना चाहिए उसका अभ्यास कर लें।
पीने का पानी साफ-सुथरी जगह पर सुरक्षित कर लें।
जरूरत पड़ने पर घायलों एवं फंसे हुए लोगों की मदद करें।
चक्रवात आने के समय घर में छिपने की सुरक्षित जगह पहले ढूंढ लें।
आपात स्थिति में इस्तेमाल होने वाली मेडिकल किट तैयार रखें।
कमरे के बीच में रहें। कमरे के कोने में जाने से बचें।
अपने सिर और गर्दन की सुरक्षा करने के लिए अपने हाथों का इस्तेमाल करें।
चक्रवात के समय घर में विद्यूत आपूर्ति की बहाली रोक दें।
Maharashtra: Chief Minister’s Office releases a list of “DO’s & DONT’s to stay safe”. #CycloneNisarga pic.twitter.com/S9mEQ8TLkL
— ANI (@ANI) June 3, 2020
तूफान के दौरान क्या न करें –
पहले से क्षतिग्रस्त मकानों से दूर रहें।
अफवाहों पर भरोसा न करें और न ही इसे फैलाएं
सुरक्षित हालात होने पर ही घायल लोगों को बाहर ले जाएं।
तेल एवं ज्वलनशील पदार्थों को रिसने नहीं दें। इसे तुरंत साफ करें।
चक्रवात के दौरान किसी वाहन की सवारी न करें।

