महाराष्ट्र में विपक्ष ने बुधवार(7 सितंबर) को भाजपा-शिवसेना के सत्तारूढ़ गठबंधन के संबंधों पर चुटकी लेते हुए कहा कि भाजपा को अपने सहयोगी दल के प्रति कोई सम्मान नहीं है क्योंकि पार्टी अध्यक्ष अमित शाह ने शहर में गणेश पंडालों का दौरा किया लेकिन शिवसेना अध्यक्ष उद्धव ठाकरे से मुलाकात नहीं की जो महज 10 मिनट की दूरी पर रहते हैं।
भाजपा अध्यक्ष शाह ने मुंबई में गणेश पंडालों में जाकर दर्शन किए। वह मुंबई की एक दिन की यात्रा में पहले बांद्रा के एक गणपति पंडाल में पहुंचे जिसके कर्ताधर्ता भाजपा विधायक और पार्टी की मुंबई इकाई के अध्यक्ष आशीष शेलार हैं। उसके बाद वह मध्य मुंबई के लालबाग स्थित सबसे प्रसिद्ध सार्वजनिक गणपति ‘लालबागचा राजा’ के दर्शन के लिए पहुंचे। उन्होंने दक्षिण मुंबई के गिरगांव में ‘गिरगांवचा राजा’ मंडल का भी दौरा किया।
हालांकि, विपक्षी कांग्रेस और राकांपा ने इस मौके का फायदा भाजपा पर चुटकी लेने के लिए उठाते हुए कहा कि भाजपा ने तो यह मानने तक से इनकार कर दिया कि उसकी सहयोगी शिवसेना के अध्यक्ष उद्धव ठाकरे भी बांद्रा में रहते हैं। कांग्रेस विधायक नितेश राणे ने कहा कि यह सही समय है जब शिवसेना को नैतिक आधार पर सरकार से समर्थन वापस ले लेना चाहिए।
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उन्होंने कहा, ‘पहले जब कोई केंद्रीय नेता, भले ही लालकृष्ण आडवाणी हों, मुरली मनोहर जोशी हों या अन्य हों, जिन्हें भाजपा के मार्गदर्शक मंडल तक सीमित कर दिया गया है, जब वे मुंबई आते थे तो मातोश्री जाकर दिवंगत बालासाहब ठाकरे से मिलने जाते थे।’ राकांपा नेता नवाब मलिक ने कहा कि भाजपा को अब खुद को ऐसी पार्टी घोषित कर देना चाहिए जिसे भविष्य में भी सहयोगी दलों के समर्थन की जरूरत नहीं होगी।
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