Multiplex Start in Srinagar: कश्मीर के श्रीनगर में तीन दशकों के बाद एक बार फिर से सिनेमा हाल खोले जा रहे हैं। अगर कश्मीर में अनुच्छेद – 370 को निष्प्रभावी किया जा सकता है तो फिर सिनेमाहल क्यों नहीं खोले जा सकते हैं। आतंकी संगठन सिनेमा हाल से भी डरते हैं इस बात का सबूत भी हमें इस खबर के बाद मिला जब घाटी में सिनेमा हाल खोलने की बात को लेकर आतंकियों की धमकी भी मिली। कभी बॉलीवुड की फिल्मों के लिए सबसे बेहतरीन लोकेशन माने जाने वाले कश्मीर में पिछले 32 सालों से सिनेमाघर बंद थे।

तीन दशकों के बाद एक बार फिर घाटी में अब सिनेमाहाल देखने वालों की भीड़ इकट्ठा होगी। मंगलवार (20 सितंबर) से इसकी शुरुआत हो रही है। और घाटी में 32 सालों के बाद आमिर खान की फिल्म ‘लाल सिंह चड्ढा’ से इसकी शुरुआत होगी। इसके पहले घाटी में आतंकी संगठनों के आतंक की वजह से यहां के लोगों ने सिनेमाघरों में जाना बंद कर दिया था और सिनेमाघर भी यहां बंद हो चुके थे। 90 के दशक में जब आतंकवाद कश्मीर में पांव पसार रहा था तब सिनेमाहाल में कश्मीरी नागरिक भी सिनेमा देखना बंद कर चुके थे आतंक के साए में सिनेमा हाल धीरे-धीरे बंद होते चले गए।

80 के दशक में थे एक दर्जन सिनेमा घर 90 में हुए लुप्त

साल 1980 के दशक तक घाटी में लगभग एक दर्जन सिंगल स्क्रीन थिएटर हुआ करते थे। आतंकी संगठनों से लगातार मिलने वाली धमकियों के चलते सिनेमा हाल के मालिकों ने कारोबार बंद कर दिया था। 90 के दशक के आखिरी सालों में कुछ सिनेमाघरों को खोलने की कोशिश की गई थी लेकिन सितंबर 1999 में लाल चौक के रीगल सिनेमाहाल पर आतंकियों ने ग्रेनेड से हमला कर दिया था। इस हमले की वजह से श्रीनगर में सिनेमाहाल खोलने की कोशिशों को नाकाम कर दिया। कश्मीर के लोगों के आतंकवाद ने जो मनोरंजन की आजादी छीनी अब एक बार फिर श्रीनगर उसी आजादी को जीने जा रहा है।

राज्यपाल मनोज सिन्हा ने किया उद्घाटन

दक्षिण सोपियां जिले में जम्मू-कश्मीर के उपराज्यपाल मनोज सिन्हा ने सिनेमा हाल का उद्घाटन किया जहां बच्चों ने पहली बार थिएटर में फिल्म देखी। इन बच्चों की आंखों में मनोरंजन की पहली खुशी दिखाई दी। श्रीनगर के शिवपोरा में मंगलवार (20 सितंबर) से पहला मल्टीप्लेक्स खुल रहा है जहां कश्मीर के लोग को थिएटर में फिल्मों के मनोरंजन का मजा ले सकेंगे। श्रीनगर आईनॉक्स मल्टीप्लेक्स के मालिक विजय धर ने आजतक से बातचीत करते हुए बताया, ‘सिनेमाघरों का जो मनोरंजन जम्मू में या दिल्ली में बच्चों और बुजुर्गों को मिलती थी वही फैसिलिटी मैं यहां के लोगों को भी दूं।’सरकार और सुरक्षा बल इस बार कश्मीर में सिनेमाघरों को पूरी सुरक्षा दे रहे हैं ताकि इस बार आतंक लोगों को सिनेमा के मनोरंजन से दूर न कर पाए।