दिल्ली की केजरीवाल सरकार देशभक्ति पाठ्यक्रम को लागू करने के बाद देशभक्ति बजट से मिशन तिरंगा पूरा करने में जुटी हुई है। आज दिल्ली के त्यागराज स्टेडियम में तिरंगा सम्मान कमेटी के वॉलंटियर्स का बड़ा कार्यक्रम हुआ। वॉलंटियर्स को संबोधित करते हुए सीएम केजरीवाल ने कहा, दिल्ली में लगभग 400 तिरंगे लग चुके हैं। 15 अगस्त तक कुल 500 तिरंगे दिल्ली भर में लग जाएंगे। ये कार्य ‘आप सरकार’ की देशभक्ति बजट के तहत किया जा रहा है। पिछले साल केजरीवाल सरकार ने पूरे शहर में 115 फीट की ऊंचाई वाले 500 तिरंगे लगाने की घोषणा की थी।

‘चोरी का नया रास्ता’

सीएम केजरीवाल के इस ऐलान के बाद सोशल मीडिया पर तरह-तरह की प्रतिक्रिया नजर आ रही है। कई यूजर्स सरकार की इस पहल की तारीफ कर रहे हैं। वहीं कई इसे पैसों की बर्बादी बता रहे हैं। ट्विटर पर हिन्दुस्तानी (@hindust87854159) नाम के एक यूजर ने इसे ‘चोरी करने का नया रास्ता’ बताया है। ठाकुर राजेश्वर (@GargRg42) ने लिखा इससे गरीबो का पेट भर जाएगा क्या, दिल्ली की जनता के टैक्स के पैसों की बर्बादी है ये।

अनुमान है कि दिल्ली में तिरंगा लगाने की इस योजना पर करोड़ों रुपये का खर्च आएगा। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक, पहले दिल्ली सरकार ने देशभक्ति बजट के रूप में 45 करोड़ ही आवंटित किये थे। बाद में इसे बढ़ाकर 84 करोड़ रुपये कर दिया गया। अब अनुमान है कि करीब 104.4 करोड़ रुपये खर्च होगा।

तिरंगा के रखवाले

इन तिरंगों के रखरखाव और सम्मान के लिए एक ‘तिरंगा सम्मान समिति’ बनाई गई है। हर तिरंगे के लिए एक पांच सदस्यीय समिति है, जिसका काम ये सुनिश्चित करना है कि फ्लैग कोड में कोई चूक न हो। साथ ही समिति धूल, तूफान या प्रदूषण के कारण किसी तिरंगे को कोई नुकसान होने पर पीडब्ल्यूडी अधिकारियों को सूचित भी करेगी। इसके अवाला प्रत्येक रविवार को दस बजे तिरंगे के नीचे राष्ट्रगान का आयोजन किया जाएगा। ‘तिरंगा सम्मान समिति’ के सदस्यों को राष्ट्रगान के कार्यक्रम में अधिक से अधिक लोगों को जुटाने का काम भी दिया गया है।

क्या है फ्लैग कोड?

भारत के राष्ट्रीय ध्वज से जुड़े कायदों और नसीहतों का दस्तावेज है फ्लैग कोड ऑफ इंडिया। इसे भारतीय झंडा संहिता 2002 के नाम से भी जाना जाता है। इसमें भारत के राष्ट्रीय ध्वज से जुड़ी तमाम नियमों, औपचारिकताओं और निर्देशों का विस्तृत ब्योरा है। भारतीय झंडा संहिता 2002 को तीन भागों में बांटा गया है। पहले में राष्ट्रीय ध्वज का सामान्य विवरण हैं। दूसरे भाग में आम लोगों, शैक्षिक संस्थाओं और निजी संगठनों के लिए निर्देश है। मसलन झंडा कैसे फहराएं, कब फहराएं, कब न फहराएं इत्यादि। तीसरे भाग में राज्य और केंद्र सरकार तथा उनके संगठनों के लिए दिशा निर्देश वर्णित हैं। फ्लैग कोड ऑफ इंडिया का पालन करना सभी भारतीयों के लिए अनिवार्य है। ऐसा न करने वालों को कानूनी कार्रवाई का सामना करना पड़ सकता है।