शिवसेना के संस्थापक बाल ठाकरे से जब एक बार टीवी इंटरव्यू में सवाल पूछा गया था कि मुंबई के लोग आपसे क्यों डरते हैं? तो उन्होंने कहा था कि देखों अगर लोग नहीं डरे तो फिर मेरे रहने से क्या फायदा? अगर आपने शेर को पिंजरे में रखा है और लोग डरते ही नहीं है जाकर उसे मूंगफली खिलाते हैं तो उसके रहने से क्या फायदा?

लेकिन मैं गर्व से ये बात नहीं कहता हूं कि मैं शेर हूं आपको डरना चाहिए लेकिन ये भी सच है कि डरना चाहिए। जब पत्रकार ने उनसे पूछा कि फिल्म इंडस्ट्री के लोग आपसे बहुत डरते हैं वो कहते हैं कि अगर आप चाह लेंगे तो फिल्म नहीं चलने देंगे? जवाब देते हुए उन्होंने कहा कि ऐसी बात नहीं है। आप जा कर उन लोगों से पूछ लो मैं आप को नाम बता देता हूं। आप आराम से कमा रहे हैं फिर भी आपके मन में डर होती है! ये कैसी बात है? औैर अगर डर होती है तो क्यों रहते हैं आपलोग?

जब उनसे पूछा गया कि आप मुख्यमंत्री क्यों नहीं बनना चाहते हैं? बाल ठाकरे ने जवाब देते हुए कहा कि (I am for the people) मैं लोगों के लिए हूं। जब पत्रकार ने कहा कि ऐसा तो नहीं है आप जिम्मेदारी से बचना चाहते हैं? बाल ठाकरे ने कहा कि यही दिक्कत है एक आदमी हिंदुस्तान में निकला जिसे कुर्सी का मोह नहीं है उसपर सवाल करते हैं।

शिवसेना नेता ने कहा था कि मेरे मुख्यमंत्री नहीं बनने से कोई फर्क नहीं पड़ा है। मैं रिमोट कंट्रोल से सरकार चलाता हूं। जिस तरह से रिमोट से टीवी के चैनल आप बदल सकते हैं तो सरकार में भी अगर कुछ इधर-उधर हो जाए तो बातें बदल सकते हैं। लेकिन साथ ही उन्होंने कहा कि अगर देश को साफ करने के लिए प्रधानमंत्री बनना पड़ेगा तो बन सकता हूं।

बाल ठाकरे ने कहा था कि प्रधानमंत्री बनने के बाद पहला काम कश्मीर को साफ करूंगा। एक भी पाकिस्तानी और बांग्लादेशी जो भारत में आए हैं किसी पर मुकदमा नहीं चलाया जाएगा। सबको गोली मार दी जाएगी।