Hardeep Singh Nijjar killing: खालिस्तान का समर्थन करने वाले हरदीप सिंह निज्जर की हत्या के मामले में कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो ने भारत को जिम्मेदार ठहराने की कोशिश की है लेकिन कनाडा के दो गैंगस्टर ने हत्या के एक मामले में अपना अपराध स्वीकार करके ट्रूडो को ही कटघरे में खड़ा कर दिया है। इन गैंगस्टर ने स्वीकार किया है कि जुलाई, 2022 में भारतीय मूल के कनाडाई नागरिक रिपुदमन सिंह मलिक की हत्या में उनका हाथ था।

भारत ने कई बार कनाडा से हरदीप सिंह निज्जर की हत्या के सबूत साझा करने को कहा है लेकिन अभी तक कनाडा ने कोई सबूत नहीं दिया है।

कनाडा की पूर्व राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार (NSA) जोडी थॉमस का कहना है कि शुरुआती खुफिया जानकारी और पुलिस जांच में पता चला है कि निज्जर की हत्या मलिक की हत्या का बदला लेने के लिए की गई थी। निज्जर की हत्या के समय थॉमस कनाडा की NSA थीं।

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पिछले हफ्ते कनाडा के फ़ॉरेन इंटरफेरेंस कमीशन के सामने गवाही देते हुए जोडी थॉमस ने कहा था कि निज्जर की हत्या उसी गुरुद्वारे (सरे में) में की गई दूसरी हाई-प्रोफाइल हत्या थी। इससे एक साल पहले ही मलिक की हत्या हुई थी और शुरुआत में यही अनुमान था कि यह एक तरह से बदला था।

इससे पता चलता है कि मलिक और निज्जर की हत्याएं आपस में उनकी दुश्मनी से जुड़ी हुई हैं।

इस मामले में एक अहम तथ्य यह है कि कनाडा की फेडरल पुलिस रॉयल कैनेडियन माउंटेड पुलिस मलिक की हत्या के मामले में भारत की भूमिका की भी जांच कर रही थी। ऐसी रिपोर्ट कनाडा के ब्रॉडकास्टर CBC ने पिछले साल मई में दी थी।

रिपुदमन सिंह मलिक की हत्या मामले में फॉक्स और लोपेज के गुनाह स्वीकार करने से यह साफ होता है कि जस्टिन ट्रूडो की सरकार ने बिना किसी सबूत के निज्जर की हत्या मामले में भारत के खिलाफ दुष्प्रचार करने की कोशिश की जबकि यह हत्या शायद मलिक की हत्या के बदले में की गई थी।

रिपुदमन सिंह मलिक के परिवार का मानना ​​है कि मलिक की हत्या एक कॉन्ट्रैक्ट किलिंग थी। उनका मानना ​​है कि फॉक्स और लोपेज को मलिक की हत्या के लिए सुपारी दी गई थी और हत्या की साजिश रचने वालों को सजा दी जाए। फॉक्स और लोपेज का आपराधिक इतिहास भी रहा है।

मलिक ने की थी मोदी की तारीफ

रिपुदमन सिंह मलिक की हत्या होने से पहले उन्होंने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की तारीफ में एक पत्र लिखा था और इसमें सिख समुदाय की सेवा के लिए उनकी प्रशंसा की थी। जब मलिक की हत्या हुई थी तो यह माना गया था कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और भारत का समर्थन करने की वजह से हरदीप सिंह निज्जर और अन्य खालिस्तानी उनसे नाराज हैं। इस तरह की भी खबरें आई थी कि मलिक और निज्जर के बीच सिखों के पवित्र ग्रंथ श्री गुरु ग्रंथ साहिब की छपाई को लेकर झगड़ा चल रहा था।

इससे पता चलता है कि मलिक और निज्जर की हत्याएं आपस में उनकी दुश्मनी से जुड़ी हुई हैं।

हरदीप सिंह निज्जर के बारे में कहा जाता है कि उसका खालिस्तानी आतंकवादी अर्शदीप सिंह डल्ला और लखबीर सिंह संधू उर्फ लांडा के साथ गहरे संबंध थे। भारत ने इन दोनों को ही आतंकवादी घोषित किया है।

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कौन था रिपुदमन सिंह मलिक?

रिपुदमन सिंह मलिक पर आरोप था कि 1985 में एयर इंडिया की एक फ्लाइट में हुए बम विस्फोट में वह शामिल था। इस बम विस्फोट में 331 लोग मारे गए थे और इनमें से ज्यादातर कनाडा के टोरंटो और वैंकूवर के रहने वाले थे। मलिक को इस मामले में बरी होने से पहले 4 साल तक जेल में रहना पड़ा था।

हरदीप सिंह निज्जर की जून, 2023 में कनाडा के सरे शहर में गोली मारकर हत्या कर दी गई थी। पिछले दिनों कनाडा ने जब कहा था कि निज्जर की हत्या में भारत के कुछ ‘एजेंट्स’ शामिल थे तब भारत ने इस पर गहरी नाराजगी जाहिर की थी। दोनों ही देशों ने एक दूसरे के कई राजनयिकों को निष्कासित कर दिया था।

ट्रूडो पर सिखों के तुष्टिकरण का आरोप

जस्टिन ट्रूडो पर आरोप लगता है कि वह अपनी सरकार को बचाने के लिए कनाडा में 2% आबादी वाले सिख समुदाय का तुष्टिकरण कर रहे हैं। ट्रूडो की सरकार 2015 से सत्ता में है और वहां 2025 में अगले आम चुनाव होने हैं। जनमत सर्वेक्षणों से यह सामने आया है कि ट्रूडो की लिबरल पार्टी को मिलने वाला समर्थन कम हो रहा है। इस साल मई में एंगस रीड इंस्टीट्यूट के एक सर्वेक्षण से पता चला था कि उनकी पार्टी को अन्य धार्मिक समूहों की तुलना में सिखों के बीच सबसे कम समर्थन मिला।